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आयोजन के घटक (Elements of Planning) समझाइए ।

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आयोजन के 7 घटक है :

  1. हेतु (Objective),
  2. व्यूहरचना (Strategy)
  3. नीति (Policy)
  4. पद्धति/विधि (Method/Procedure)
  5. नियम (Rules)
  6. अन्दाज-पत्र (Budget)
  7. कार्यक्रम (Programme)

(1) हेतु (Objects) : ध्येय तय करना और उनको सफल बनाना यह धन्धाकीय इकाई का मुख्य ध्येय होता है । यह तय करते समय इकाई को प्रभावित करनेवाले प्रत्येक परिबल को ध्यान में लेना पड़ता है । ध्येय प्राप्त कर सके ऐसे वास्तविक होने चाहिए । यह अधिक महत्त्वकांक्षी नहीं होने चाहिए ।

(2) व्यूहरचना (Strategy) : आयोजन में निर्धारित किये गये उद्देश्यों को पूर्ण करने के लिए उपयोग में ली जानेवाली युक्ति अर्थात् व्यूहरचना । इससे इकाई बाजार में स्पर्धकों के सामने अथवा असर करनेवाले अन्य परिबलों के सामने टिक सके । व्यूहरचना का उपयोग सेनाओं और खेल-कूद जैसे क्षेत्रों में बड़े प्रमाण में किया जाता है । कोई भी व्यूहरचना स्पर्धियों से गुप्त रहे यह भी आवश्यक है । योग्य व्यूहरचना के कारण ही इकाई को महत्तम सफलता का विश्वास मिलता है ।

(3) नीति (Policy) : आयोजन में निर्धारित किये गये ध्येय को पूर्ण करने के लिए संचालक जो निर्णय और व्यूहरचना तय करें उसे नीति कहते हैं । नीति इकाई की एक छाप उत्पन्न करती है । इकाई की कुशलता और कार्य पद्धति का परिचय देती है । ध्येय की तरह नीति भी व्यवहारिक और वास्तविक होनी चाहिए । जैसे शान पर माल का विक्रय करने की नीति ।

(4) पद्धति/विधि (Method/Procedure) : पद्धति यह इकाई के कार्यक्रम को पूरा करने की व्यवस्था दर्शाता है । व्यूहरचना इकाईयों को स्पर्धियों के सामने बने रहने की व्यवस्था दर्शाते है । नीति उद्देश्यों को किस तरह पूरा किया जा सके इसकी जानकारी प्रदान करती है । जबकि विधि निर्धारित किये गये उद्देश्यों को किस तरह पूरा किया जायेगा इसका मार्ग दर्शाते है । जैसे इकाई बिमासिक विक्रय के आँकडे प्राप्त करके वार्षिक विक्रय के ध्येय को पूर्ण करने का प्रयत्न करते है । ऐसा करने से सफलता मिलने की सम्भावना बढ़ती है, संक्षिप्त में, विधि अर्थात् अमुक प्रवृत्ति किस तरह करना इसका तरीका ।

(5) नियम (Rules) : आयोजन में निर्धारित किये गये कार्यक्रम को पूर्ण करने के लिए नियम जरूरी है । नियम विधि निश्चित करते है । स्पष्ट समझ देते है । जिससे कर्मचारियों में अनुशासन स्थापित होता है तथा ध्येय प्राप्ति और निरीक्षण का कार्य सरल हो जाता है । जैसे कार्य के घण्टों के दौरान कर्मचारियों के मोबाइल का उपयोग नहीं करना, इकाई में धूम्रपान नहीं करना इत्यादि ।

(6) अन्दाज-पत्र (Budget) : इकाई में निश्चित किये गये उद्देश्यों को पूर्ण करने के नियंत्रण के माध्यम के रूप में अन्दाजपत्र का उपयोग किया जाता है । अन्दाज-पत्र के विभिन्न प्रकार होते है जैसे कि पूँजी खर्च अन्दाज-पत्र उत्पादन अन्दाज-पत्र, उत्पादनखर्च अन्दाज-पत्र, विक्रय अन्दाज-पत्र और नकद अन्दाज-पत्र । अन्दाज-पत्र इकाई की प्रक्रिया पर नियंत्रण रखते हैं और संचालन को कार्यक्षम बनाते हैं ।

(7) कार्यक्रम (Programme) : धन्धाकीय इकाई के जो कार्य करने हो उनको जो क्रम दिया जाता है उन्हें कार्यक्रम कहा जाता है । यदि कार्यक्रम के अनुसार काम-काज हो तो लक्ष्य-प्राप्ति का प्रश्न उत्पन्न नहीं होता । संचालन का कार्य कार्यक्रम के अनुसार होता है या नहीं यह देखना हैं और उन्हें निर्धारित किये गये स्तरों के साथ तुलना करने पर यदि उनमें विचलन पाया जाये तो सुधारलक्षी कदम उठाना आवश्यक होता है ।



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