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Answer» बालश्रमिक श्रम का सस्ता उत्पादक साधन है । व्यस्क व्यक्ति की तुलना में बालश्रमिक को कम मजदूरी या वेतन चुकाकर काम ले सकते है । - वे असंगठित होते है, संगठन के अभाव से मालिकों के विरुद्ध वे आवाज नहीं उठा सकते, विरोध प्रदर्शित नहीं कर सकते जिससे बालश्रमिकों का सरलता से उन्हें खबर न पड़े इस तरह विविधरूपों से वे शोषण कर सकते है । कठिन या जोखमी परिस्थितियों में भी कम वेतन और निर्धारित कार्य समय से अधिक काम कराकर, धमकाकर और लालच देकर काम करवा सकते है ।
- बाल श्रमिकों की संख्या अधिक है जिससे अधिक मात्रा में और आसानी से वे प्राप्त हो जाते है । ग्रामीण क्षेत्रों में शिक्षा की पर्याप्त सुविधाओं के अभाव से, बालक पढ़ने की उम्र में परिवार के सदस्यों की आवश्यकता की पूर्ति करने के लिए, कमाने के अधिक हाथ-पैर के रूप में माता-पिता बालकों को देखते है और बाल मजदूरी की ओर धकेलते है ।
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