InterviewSolution
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                                    एक खगोलीय दूरबीन के अभिदृश्यक की फोकस-दूरी 200 cm तथा नेत्रिका की फोकस-दूरी 4.0 cm है। यह दूरबीन 10 km दूरी के वास्तु को देखने के लिए उपयोग में लाई जा रही है । अंतिम प्रतिबिम्ब अनंत पर बन रहा है। दूरबीन की लम्बाई तथा इसके द्वारा उत्पन्न कोणीय आवर्धन निकालें। | 
                            
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Answer» चूँकि अभिदृश्यक की फोकस-दूरी 200 cm की तुलना में वस्तु की दूरी 10 km बहुत अधिक है, इसलिए प्रथम प्रतिबिम्ब अभिदृश्यक के फोकस के अत्यंत निकट, अर्थात उससे 200 cm की दूरी पर ही बनेगा। चूँकि अंतिम प्रतिबिम्ब अनंत पर बनता है, इसलिए अभिदृश्यक द्वारा बनाया गया प्रतिबिम्ब नेत्रिका के फोकस पर बना है। अतः, दूरबीन की लम्बाई, `L=200 cm+4.0 cm=204cm` तथा कोणीय आवर्धन, `m=(f_(0))/(f_(e))= -(200cm)/(4.0 cm)=-50.`  | 
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