1.

विभवमापी के दोनों सिरों के बीच एक निश्चित विभवान्तर है । दो सेले श्रेणीक्रम में इस प्रकार जोड़ी जाती है कि एक व्यवस्था में दोनों एक -दूसरे की सहायता करती है तथा दूसरी व्यवस्था में एक - दूसरे का विरोध करती है । इन संयोजनों का संतुलन विभवमापी तार पर क्रमश : 120 सेमी तथा 60 सेमी की लम्बाइयों पर होता है । दोनों सेलों के विधुत वाहक बलों में अनुपात है :

Answer» माना कि विभवमापी के तार की विभव - प्रवणता K वोल्ट / सेमी है और दोनों सेलों के विधुत वाहक बल `E_(1)` व `E_(2)` वोल्ट है । जब दोनों सेल एक -दूसरे की सहायता करते है तब परिणामी विधुत वाहक बल `(E_(1)+E_(2))` वोल्ट होगा । अतः
`E_(1) +E_(2) = K xx (120` सेमी ) ...(i)
जब दोनों सेल विरोध करते है तो परिणामी विधुत वाहक बल `(E_(1)-E)_(2))` वोल्ट होगा । अतः
` E_(1) - E_(2) = K xx (60` सेमी ) ......(ii)
समीकरण (i ) को समीकरण (ii ) से भाग करने पर
`(E_(1) +E_(2))/(E_(1)-E_(2)) = (120)/60 = 2/1`
अथवा ` E_(1) + E_(2) = 2 (E_(1) -E_(2))`
अथवा ` 3 E_(2) = E_(1)`
अतः विधुत वाहक बलों का अनुपात
` E_(1)/E_(2) = 3/1` .


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