| Answer» BPO – Business Process Outsourcing अर्थात् कम्पनी के विशिष्ट कार्य या प्रक्रियाएँ पूर्ण करने के लिए बाह्य कम्पनी या समूह से करार आधारित सेवा प्राप्त करना । जैसे कोल सेन्टर्स या डेटा एन्ट्री का कार्य जो कम्पनियाँ आउटसोर्सिंग की इच्छुक होती है उनका मुख्य उद्देश्य खर्च में कमी लाना है । BPO का कार्य भारत, चीन जैसे विशाल जनसंख्यावाले देशों को अधिक मिलता है । BPO की आवश्यकताएँ : BPO कम्पनी के कोर्पोरेट स्तर के कर्मचारियों को दैनिक सहायक कार्य की जिम्मेदारी से मुक्त करती है । जिससे कर्मचारी उत्पादक प्रवृत्तियों पर विशेष ध्यान दे सके तथा ग्राहकों पर विशेष ध्यान केन्द्रित कर सकते है । खर्च में कमी : धन्धाकीय इकाईयाँ बिलिंग, क्रय, डेटा ऐन्ट्री, बाजार का सर्वेक्षण जैसे महत्त्वपूर्ण कार्यालय (office) जैसे कार्यों का आउटसोर्सिंग करके उनके खर्च में कमी लाई जा सकती है ।कम्पनी के मुख्य धन्धे पर ध्यान : धन्धाकीय इकाइयों के दैनिक कार्यों के आउटसोर्सिंग करने से संचालक मुख्य धन्धे पर विशेष ध्यान केन्द्रित कर सकते है ।कार्यकुशलता का लाभ : धन्धाकीय इकाइयाँ कर्मचारियों की भर्ती करके उनको प्रशिक्षित करने के बदले आउटसोर्सिंग के माध्यम । से गुणवत्तापूर्वक अथवा योग्य रूप से कार्य करा सकते है ।परिवर्तनशील मांग को पूर्ण करने के लिए : BPO कम्पनियाँ ग्राहकों की सतत परिवर्तन माँग को पूरा करने के लिए सुविधाएँ प्रदान करते है ।लाभ में वृद्धि : व्यापारिक इकाईयों के केन्द्र स्थान में न हो ऐसे कार्यों का आउटसोर्सिंग करके कम्पनी महत्त्वपूर्ण घटक पर विशेष ध्यान केन्द्रित कर सकते हैं । जैसे कि विक्रय में वृद्धि, नये उत्पादन का विकास करना, व्यापार के कद को बढ़ाना तथा ग्राहक सेवा व संतोष में वृद्धि करना । जिसके परिणामस्वरूप इकाइयों के लाभ में वृद्धि होती है ।
 BPO का कार्यक्षेत्र : Bank office outsourcing : Billing, खरीदी, डेटा ऐन्ट्री जैसे व्यापार के आन्तरिक कार्य किये जाते है ।Front office outsourcing : मार्केटिंग या तकनिकी सहायता जैसी ग्राहक सम्बन्धी सेवाओं का समावेश होता है ।
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