Saved Bookmarks
| 1. |
छू गया तुमसे कि झरने लग पड़े शेफालिका के फूल बाँस था कि बबूल? |
|
Answer» उस छोटे दंतुरित बच्चे का ऐसा मनोरम रूप था कि चाहे कोई कितना भी कठोर क्यों न रहा हो पर उसे देख मन ही मन प्रसन्नता से भर उठता था। चाहें बाँस के समान हो या कांटों भरे कीकर के समान, पर उसकी सुदंरता से प्रभावित हो वह उसकी ओर देख मुस्कराने के लिए विवश हो जाता था। I HOPE this is HELP you.... |
|