1.

कृषि उत्पादकता बढ़ाने के लिए कृषि-ऋण के महत्त्व को समझाइए ।

Answer»

नीची कृषि उत्पादकता के लिए किसान की कमजोर आर्थिक स्थिति भी जवाबदार होती है । कम आय के कारण छोटे-सीमांत किसान में पूंजीनिवेश नहीं कर पाते हैं परिणाम स्वरूप आधुनिक खेती लाभ नहीं ले पाते । इसलिए सरकार कृषि क्षेत्र ऋण और अन्य मौद्रिक सुविधाएँ पहुँचे इसलिए सरकार 1969 और 1980 में बैंकों का राष्ट्रीयकरण किया गया । इसके उपरांत कृषि पर पर्याप्त ध्यान देने के लिए कृषि क्षेत्र के लिए मध्यस्थ बैंक का अंक NABARD की स्थापना 1982 में की गयी और उसके अंतर्गत RRB (Regional Rural Banks), प्रादेशिक ग्रामीण बैंक और LDB (Land Development Banks) जमीन विकास । बैंको का विकास किया गया । जिससे भारतीय किसानों को समयसर, पर्याप्त और सस्ता ऋण मिल सके और इस प्रकार कृषि कार्य के लिए पूँजी प्राप्त करके आधुनिक खेती करके कृषि उत्पादकता को बढ़ा सकते हैं ।



Discussion

No Comment Found