InterviewSolution
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‘अनुरागी चित्त’ की कवि ने क्या विशेषता बताई है? इसका आशय क्या है? स्पष्ट कीजिए। |
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Answer» कवि कहता है इस अनुराग (प्रेम) में मग्न हृदय की अद्भुत प्रकृति को समझ पाना बड़ा कठिन है। यह ज्यों-ज्यों श्याम (काला) रंग में डूबता है, उतना ही उतना उजला होता चला जाता है। यह परस्पर विरोधी कथन है। इस कथन का आशय है कि व्यक्ति जितना-जितना श्याम (श्रीकृष्ण) के रंग (भक्ति या प्रेम) में डूबता है, त्यों-त्यों उसका हृदय पवित्र और प्रसन्न होता चला जाता है। |
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