1.

चोक-कुण्डली में प्रवाहित प्रत्यावर्ती धारा को वाटहीन धारा क्यों कहते है ?

Answer» चोक-कुण्डली ऊँचे प्रेरकत्व की प्रतिरोधहीन कुण्डली होती है शुद्ध प्रेरक में, वोल्टेज धारा से `90^(@)` अग्रगामी होता है | अतः शक्ति क्षय
`barP = V_(rms) xx i_(rms) xx cos 90^(@) = 0`
शून्य होने के कारण चोक-कुण्डली की धारा वाटहीन धारा कहलाती है |


Discussion

No Comment Found

Related InterviewSolutions