1.

ह) मधुबन तुम कह रहत हरे।विरह वियोग स्याम सुंदर के ठाढ़े क्यों न जरे।​

Answer»

मधुबन तुम क्यौं रहत हरे ।

बिरह बियोग स्याम सुंदर के ठाढ़े क्यौ न जरे ।।

मोहन बेनु बजावत तुम तर, साखा टेकि खरे ।

मोहे थावर अरु जड़ जगम, मुनि जन ध्यान टरे ।।

वह चितवनि तू मन न धरत है, फिरि फिरि पुहुप धरे ।

'सूरदास' प्रभु बिरह दवानल, नख सिख लौ न जरे ।।

Explanation:

SORRY but I don't GET the MEANING.



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