InterviewSolution
This section includes InterviewSolutions, each offering curated multiple-choice questions to sharpen your knowledge and support exam preparation. Choose a topic below to get started.
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भूषण की कविता के नायक कौन हैं? |
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Answer» भूषण की कविता के नायक महाराज शिवाजी तथा छत्रसाल हैं। |
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शिवाजी के क्रोध से लाल मुख को देखकर औरंगजेब तथा सिपाहियों का क्या हाल हुआ? |
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Answer» शिवाजी का क्रोध से लाल मुख देख औरंगजेब का मुख काला और सिपाहियों के मुँह पीले पड़ गए। |
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| 3. |
औरंगजेब के अपमान पूर्ण व्यवहार से शिवाजी पर क्या प्रभाव पड़ा? |
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Answer» औरंगजेब के अपमान पूर्ण व्यवहार से शिवाजी को क्रोध आ गया। उन्होंने औरंगजेब को सलाम भी नहीं किया। |
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| 4. |
शिवाजी का अवतार हुआ है –(क) दुष्टों के विनाश के लिए(ख) राज्य विस्तार के लिए।(ग) जगत् के भरण-पोषण के लिए(घ) देश की स्वतंत्रता के लिए |
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Answer» (ग) जगत् के भरण-पोषण के लिए |
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‘भनत’ शब्द का अर्थ है –(अ) कविता(ब) कहना(स) सजना(द) खनकना |
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Answer» ‘भनत’ शब्द का अर्थ है कहना |
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| 6. |
शिवाजी की सेना के चलने से समुद्र पर क्या प्रभाव पड़ रहा है? |
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Answer» सेना के चलने से समुद्र थाल पर रखे पारे के समान हिल रहा है। |
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| 7. |
हाथियों के मद से क्या हो रहा है? |
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Answer» हाथियों के मद के टपकने से नदी और नद बह रहे हैं। |
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शिवाजी का क्रोध से लाल मुख देखकर औरंगजेब का मुख हो गया -(क) पीला(ख) लाल(ग) काला(घ) हरा |
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Answer» शिवाजी का क्रोध से लाल मुख देखकर औरंगजेब का मुख हो गया - काला |
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भूषण ने संसार के भरण-पोषण में किसका दखल नहीं माना है? |
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Answer» भूषण ने संसार का भरण-पोषण करने में ईश्वर की कोई भूमिका नहीं मानी है। वह शिवाजी को ही संसार का पोषण कर्ता और भर्ता मानते हैं। |
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| 10. |
शिवाजी औरंगजेब के दरबार में कहाँ खड़े होने योग्य थे? |
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Answer» शिवाजी सबसे ऊपर खड़े होने योग्य थे। |
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| 11. |
कवि भूषण भूमि पर भार उठाने के विषय में क्या कहते हैं? |
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Answer» भूषण कहते हैं कि पुराणों में धरती का भार उठाने वाले शेषनाग, दिग्गज और हिमालय कहे गए हैं, किन्तु वास्तव में शिवाजी की भुजाओं पर ही धरती का भार टिका है। |
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| 12. |
बादलों पर प्रभुत्व है –(क) इंद्र को(ख) सूर्य का(ग) समुद्र का(घ) वायु का |
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Answer» बादलों पर प्रभुत्व है वायु का |
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| 13. |
कवि भूषण की कविता का प्रधान रस कौन-सा है? |
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Answer» भूषण की कविता का प्रधान रस वीररस है। |
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| 14. |
चतुरंगिणी सेना सजाकर शिवाजी कहाँ जा रहे हैं? |
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Answer» शिवाजी युद्ध में विजय पाने जा रहे हैं। |
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| 15. |
धूल की अधिकता से सूर्य लगता है।(क) चन्द्रमा के समाने(ख) तारे के समान(ग) दीपक के समान(घ) हीरे के समान |
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Answer» (ख) तारे के समान |
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| 16. |
कवि किसकी भुजाओं पर धरती का भार मानता है –(अ) कछुए की(ब) शेषनाग की(स) शिवाजी की(द) औरंगजेब की |
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Answer» (स) शिवाजी की |
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| 17. |
समस्त भारत में पूर्व में पश्चिम तथा उत्तर से दक्षिण तक शिवाजी का दावा कहाँ-कहाँ है? |
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Answer» भूषण के अनुसार जहाँ-जहाँ भी बादशाह औरंगजेब का शासन है, वहाँ-वहाँ वीर शिवाजी की तूती बोलती है। |
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| 18. |
पठित अंश के आधार पर सिद्ध कीजिए कि भूषण वीररस के कवि थे। |
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Answer» यह सर्वविदित है कि रीतिकाल के श्रृंगारमेय वातावरण में कवि भूषण ने लीक से हट कर वीररस का शंखनाद किया था। उन्होंने महाराज शिवाजी और छत्रसाल को अपने काव्य का नायक बना कर उनकी वीरता, धाक और रणकौशल का वर्णन किया है। महाराज शिवाजी अपनी चतुरंगिणी सेना सजाकर उत्साह में भरे शत्रुओं पर विजय पाने जा रहे हैं। स्पष्ट है कि उत्साह वीररस का स्थायीभाव है और शिवाजी उस समय वीररस में ओतप्रोत हैं। नगाड़ों की ध्वनि ‘उद्दीपन’ बनकर उनके उत्साह को बढ़ा रही है। छंद पाठकों के मन में भी वीररस का संचार कर रहा है। एक और दृश्य देखिए। वीर शिवा अहंकारी औरंगजेब के दरबार में उपस्थित है। शिवाजी को नीचा दिखाने के लिए उन्हें छह हमारी मनसबदारों जैसे छोटे पद वालों के साथ स्थान दिया गया है। कवि यहाँ पर भी शिवाजी के वीर स्वभाव का परिचय कराता है। क्रोध रौद्र रस का स्थायीभाव है। और वीर को अनुचित और स्वाभिमान पर आघात करने वाले आचरण पर क्रोध आना स्वाभाविक है। निर्भीक, स्वाभिमानी और वीरपुरुष भरे दरबार में औरंगजेब को चुनौती देते हैं। इसी प्रकार अन्य संभावित छंदों में भी हम महाराज शिवाजी की वीरता और शत्रुओं पर उनकी धाक का प्रमाण देखते हैं। ‘तेरी करबाल धरै म्लेच्छन को काल’, म्लेच्छवंस पर सेर शिवराज है” तथा जहाँ पातसाही वहाँ दावा सिवराज कौ” जैसे कथन शिवाजी महाराज वीरता का प्रमाण दे रहे हैं। अत: संकलित छंदों से स्वत: सिद्ध हो रहा है कि भूषण वीर रस के कवि थे। |
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| 19. |
भूषण के अनुसार सारे भूमण्डल के अंधकार पर किसका दावा है? |
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Answer» सर्वत्र अंधकार पर सूर्य की किरणों का दावा है। उनके सामने अँधेरा टिक नहीं पाता। |
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| 20. |
कवि भूषण पर्वतों पर इन्द्र का दावा किस आधार पर मानते हैं? |
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Answer» कभी पर्वत उड़ा करते थे। इन्द्र ने अपने वज्र के प्रहार से उनके पंख काट डाले और वे अचल हो गए। इसी कारण इन्द्र को पर्वतों पर दावा माना गया है। |
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| 21. |
‘दावा दुम दंड पर’ कथन का आशय स्पष्ट कीजिए। |
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Answer» ईस कथन को आशय है कि वनों में लग जाने वाली आग का वृक्षों पर प्रभुत्व है। वृक्ष उससे नहीं बच सकते। |
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| 22. |
गरुड़ का दावा कवि किस पर मानता है? |
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Answer» कवि भूषण समस्त सर्पो पर गरुड़ का दावा मानते हैं। |
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भगवान शिव को कवि ने रति के पति कामदेव पर प्रभुत्व रखने वाला क्यों बताया है? |
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Answer» कामदेव ने देवताओं के कहने पर शिवजी की समाधि को भंग किया था। तब शिवजी ने रुष्ट होकर कामदेव को भस्म कर दिया था। इंसी कारण शिव को कामदेव पर भारी माना है। |
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वितुण्ड पर किसका अधिकार होता है? |
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Answer» सिंह को मृगराज अर्थात् सारे पशुओं का राजा कहा जाता है। उसके पराक्रम के सामने किसी भी पशु का टिक पाना सम्भव नहीं होती। वितुण्डे (हाथी) लम्बी सँड वोला, विशालकाय और बलशाली पशु है परन्तु सिंह जब उस पर आक्रमण करता है तो वह भी उसका सामना नहीं कर पाती। इसलिए कवि भूषण ने उस पर सिंह का दावा बताया है। |
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कवि भूषण ने म्लेच्छवंश पर किसे ‘शेर’ बताया है? |
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Answer» कवि भूषण ने शिवाजी को म्लेच्छवंश पर आधिपत्य रखने वाला शेर माना है। |
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काल को कवि भूषण ने किस काम के लिए व्यर्थ ही बदनाम बताया है? |
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Answer» कवि भूषण ने दुष्टों का अंत करने वाला शिवाजी को मानते हुए मृत्यु के लिए काल को व्यर्थ ही बदनाम माना है। |
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भूषण ने शिवाजी का दावा बताया है –(क) महाराष्ट्र पर(ख) दिल्ली पर(ग) सारे भारत पर(घ) औरंगजेब के सारे राज्य पर |
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Answer» (घ) औरंगजेब के सारे राज्य पर |
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कवि भूषण ने जल पर किसका सदा ही प्रभुत्व माना है? |
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Answer» कवि भूषण बड़वाग्नि को जल पर सदा प्रभुत्व बनाए रखने वाला मानते हैं। |
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सहस्रबाहु पर किसने विजय प्राप्त की थी? |
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Answer» पुराणों में वर्णन आता है कि परशुराम के पिता महर्षि जमदग्नि, बड़े तपस्वी और अतिथियों के सम्मानकर्ता थे। एक बार प्रतापी राजा सहस्त्रबाहु उनके आश्रम पर आए। उनके साथ उनकी सेना भी थी। ऋषि जमदग्नि के पास एक दैवी गाय थी। उसके प्रभाव से ऋषि ने राजा का यथायोग्य आदर किया। राजा गाय के प्रभाव को देख ललचा गया उसने ऋषि से वह गाय माँगी। ऋषि के मना करने पर वह बलपूर्वक गाय को ले गया। इससे क्रोधित होकर परशुराम ने उसका युद्ध में संहार कर दिया। |
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भूषण के संकलित छंदों में कौन-सा रस और कौन-सा गुण है? |
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Answer» भूषण के संकलित छंदों में वीर रस है तथा ओज गुण है। |
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भूषण ने अँधेरे पर किसका अधिकार बताया है? |
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Answer» कवि भूषण ने अंधकार पर सूर्य के प्रकाश का अधिकार बताया है। चौथे छंद में कवि ने कहा है ‘तेज तम अंस पर’ तथा पाँचवे छंद में भी भूषण कहते हैं “भूषन अखंड नवखंड महिमंडल में, तम पर दावा रविकिरन समाज कौ।” सूर्य के उदय होते ही संपूर्ण पृथ्वी से अंधकार समाप्त हो जाता है। |
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कवि भूषण की दो रचनाओं के नाम बताइए। |
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Answer» कवि भूषण की दो रचनाएँ-शिवराज भूषण’ तथा ‘छत्रसाल दशक’ है। |
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