InterviewSolution
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प्रेमचन्द युग के दो उपन्यासकारों के नाम लिखिए। |
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Answer» ⦁ प्रेमचन्द तथा |
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| 202. |
कन्हैयालाल मिश्र ‘प्रभाकर’ द्वारा रचित संस्मरणात्मक रचनाओं के नाम लिखिए। |
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Answer» ‘जिन्दगी मुसकाई’, ‘माटी हो गयी सोना’ तथा ‘दीप जले शंख बजे’ प्रभाकर जी की प्रमुख संस्मरणात्मक रचनाएँ हैं। |
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‘यात्रावृत्त’ किसे कहते हैं ? |
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Answer» जब कोई यात्री अपनी यात्रा के अन्तर्गत मार्ग में आने वाले विविध व्यक्तियों, स्थानों, व्यवस्थाओं आदि के अपने हृदय पर पड़ने वाले प्रभावों का सूक्ष्म और सजीव वर्णन करता है, तब उसे यात्रावृत्त कहते हैं। |
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| 204. |
‘संस्मरण’ की विशेषताओं का उल्लेख कीजिए। |
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Answer» ⦁ संस्मरण में व्यक्तियों, घटनाओं अथवा दृश्यों को स्मृति के सहारे पुन: कल्पना में मूर्त किया जाता है। |
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हिन्दी के दो संस्मरण लेखकों के नाम लिखिए। |
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Answer» ⦁ महादेवी वर्मा तथा |
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| 206. |
संस्मरण विधा से सम्बन्धित प्रमुख रचनाओं और उनके लेखकों के नाम लिखिए। |
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Answer» संस्मरण विधा से सम्बन्धित प्रमुख रचनाएँ और उनके लेखक निम्नलिखित हैं— ⦁ मण्टो मेरा दुश्मन, |
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| 207. |
कहानी अथवा आधुनिक कहानी किस उद्देश्य से लिखी जाती है ? |
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Answer» कहानी का मुख्य उद्देश्य मनोरंजन के साथ-साथ व्यक्ति या समाज के महत्त्वपूर्ण अनुभवों, अनुभूतियों एवं यथार्थ की कलात्मक अभिव्यक्ति करना है, जब कि मानव-जीवन की कुण्ठाओं, भटकाव, संत्रास, दिशाहीनता और यान्त्रिक जड़ता का यथार्थ और मार्मिक चित्रण करना आधुनिक कहानी के अन्यतमे उद्देश्य हैं। |
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| 208. |
कहानी के कौन-कौन से तत्त्व होते हैं ? |
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Answer» कहानी के सात तत्त्व होते हैं— |
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| 209. |
द्विवेदी युग की दो मुख्य विशेषताएँ बताइए। |
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Answer» भाषा संस्कार तथा गद्य के विविध रूपों और शैलियों का विकास; द्विवेदी युग की दो मुख्य विशेषताएँ हैं। |
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विशाल भारत’, ‘सैनिक’, ‘प्रतीक’, ‘वाक्’ तथा ‘दिनमान’ पत्र-पत्रिकाओं का सम्पादन किया (क) आचार्य हजारीप्रसाद द्विवेदी ने(ख) कन्हैयालाल मिश्र ‘प्रभाकर’ ने(ग) रामवृक्ष बेनीपुरी ने(घ) सच्चिदानन्द हीरानन्द वात्स्यायन ‘अज्ञेय’ ने |
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Answer» (घ) सच्चिदानन्द हीरानन्द वात्स्यायन ‘अज्ञेय’ ने |
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| 211. |
‘भाग्यवती’ को हिन्दी का प्रथम सामाजिक उपन्यास माना जाता है। इसके लेखक थे (क) नवीनचन्द्र राय(ख) गोपालराम गहमरी(ग) श्रद्धाराम फुल्लौरी(घ) देवकीनन्दन खत्री |
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Answer» सही विकल्प है (ग) श्रद्धाराम फुल्लौरी |
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| 212. |
हिन्दी का प्रथम मौलिक उपन्यास माना जाता है (क) परीक्षा-गुरु(ख) भूतनाथ(ग) चन्द्रकान्ता(घ) सेवासदन |
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Answer» सही विकल्प है (क) परीक्षा-गुरु |
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| 213. |
हजारीप्रसाद द्विवेदी का जन्म-काल है–(क) 1907 ई०(ख) 1906 ई०(ग) 1902 ई०(घ) 1905 ई० |
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Answer» सही विकल्प है (क) 1907 ई० |
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हिन्दी के प्रथम मौलिक उपन्यास एवं उसके लेखक का नाम लिखिए। |
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Answer» लाला श्रीनिवास दास द्वारा लिखित परीक्षा-गुरु’ नामक उपन्यास, हिन्दी का प्रथम मौलिक उपन्यास है। |
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सच्चिदानन्द हीरानन्द वात्स्यायन का जन्म-काल है(क) 1892 ई०(ख) 1907 ई०(ग) 1911 ई०(घ) 1920 ई० |
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Answer» सही विकल्प है (ग) 1911 ई० |
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श्यामसुन्दर दास का जन्म-काल है–(क) सन् 1875 ई०(ख) सन् 1884 ई०(ग) सन् 1892 ई०(घ) सन् 1907 ई० |
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Answer» सही विकल्प है (क) सन् 1875 ई० |
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मुंशी प्रेमचन्द का जन्म-काल है(क) 1870 ई०(ख) 1875 ई०(ग) 1880 ई०(घ) 1879 ई० |
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Answer» सही विकल्प है (ग) 1880 ई० |
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रामचन्द्र शुक्ल के दो आलोचना-ग्रन्थों के नाम लिखिए। |
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Answer» ⦁ रस-मीमांसा और |
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इन्होंने भाषा सम्बन्धी विविध प्रयोग किये और शैली के क्षेत्र में भी नये प्रतिमान स्थापित किये(क) स० ही० वात्स्यायन ‘अज्ञेय’(ख) आचार्य रामचन्द्र शुक्ल(ग) डॉ० सम्पूर्णानन्द(घ) श्रीराम शर्मा |
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Answer» सही विकल्प है (क) स० ही० वात्स्यायन ‘अज्ञेय’ |
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रामचन्द्र शुक्ल की गद्य की किन दो विधाओं में सर्वाधिक प्रसिद्धि है ?यारामचन्द्र शुक्ल को गद्य की किन दो विधाओं के लेखन में सर्वाधिक सफलता मिली है ? |
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Answer» आचार्य रामचन्द्र शुक्ल की ⦁ आलोचना और |
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‘अज्ञेय’ का वास्तविक नाम ( पूरा नाम) है—(क) रामवृक्ष बेनीपुरी(ख) हजारीप्रसाद द्विवेदी(ग) कन्हैयालाल मिश्र(घ) सच्चिदानन्द हीरानन्द वात्स्यायन ‘अज्ञेय’ |
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Answer» (घ) सच्चिदानन्द हीरानन्द वात्स्यायन ‘अज्ञेय’ |
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| 222. |
‘दीप जले शंख बजे’ किस लेखक द्वारा रचित संस्मरण विधा की रचना है ?(क) रामवृक्ष बेनीपुरी(ख) महावीरप्रसाद द्विवेदी(ग) कन्हैयालाल मिश्र ‘प्रभाकर’(घ) जैनेन्द्र कुमार |
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Answer» सही विकल्प है (ग) कन्हैयालाल मिश्र ‘प्रभाकर’ |
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| 223. |
शुक्ल जी की भाषा-शैली की दो विशेषताएँ लिखिए। |
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Answer» ⦁ शुक्ल जी की भाषा-शैली गठी हुई है, जिसमें शब्दों के साथ-साथ वाक्य भी गुंथे रहते हैं। |
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| 224. |
राजा लक्ष्मण सिंह की भाषा का क्या रूप था ? |
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Answer» राजा लक्ष्मण सिंह की भाषा संस्कृतनिष्ठ थी। ये दैनिक प्रयोग में काम आने वाले अंग्रेजी व उर्दू के सामान्य शब्दों को भी हिन्दी से दूर रखना चाहते थे। |
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राजा शिवप्रसाद सितारेहिन्द’ की भाषा के क्या दोष थे ? |
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Answer» राजा शिवप्रसाद सितारेहिन्द’ की भाषा पर अरबी-फारसी का प्रभाव था। इसी को उनकी खड़ी बोली भाषा का दोष माना जाता है। |
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खड़ी बोली गद्य के दो प्रारम्भिक उन्नायकों के नाम लिखिए। |
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Answer» खड़ी बोली गद्य के दो प्रारम्भिक उन्नायक हैं— ⦁ सदल मिश्र तथा |
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‘अष्टयाम’ की कौन-सी भाषा है ? |
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Answer» ‘अष्टयाम’ शीर्षक से चार लोगों-खुमान, हितहरिवंश, देव, नाभादास–ने रचनाएँ की हैं। ‘अष्टयाम’ की भाषा ब्रजभाषा है। |
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भारतेन्दु युग के किन्हीं दो लेखकों की दो-दो कृतियों का संक्षिप्त विवरण दीजिए। |
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Answer» (1) भारतेन्दु हरिश्चन्द्र- (2) प्रतापनारायण मिश्र– |
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भारतेन्दु से पूर्व हिन्दी गद्य के चार प्रवर्तकों और उनकी रचनाओं के नाम लिखिए।याकलकत्ता स्थित फोर्ट विलियम कॉलेज के उन दो हिन्दी-शिक्षकों के नाम लिखिए, जिन्हें खड़ी बोली गद्य का प्रारम्भिक उन्नायक माना जाता है।यालल्लूलाल किस कॉलेज में हिन्दी-अध्यापक थे ? उनकी प्रसिद्ध रचना का नाम लिखिए।याखड़ी बोली के प्रारम्भिक उन्नायकों में विशेष रूप से जिन चार लेखकों का उल्लेख किया जाता है, उनमें से किन्हीं दो की एक-एक रचना का नाम लिखिए। |
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Answer» भारतेन्दु से पूर्व हिन्दी गद्य के चार प्रवर्तकों और उनकी एक-एक रचनाओं के नाम निम्नलिखित हैं- ⦁ इंशा अल्ला खाँ-रानी केतकी की कहानी।। इनमें सदल मिश्र तथा लल्लूलाल कलकत्ता के ‘फोर्ट विलियम कॉलेज’ में अध्यापक थे। |
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| 230. |
‘गद्यगीत’ अथवा ‘गद्यकाव्य’ की दो विशेषताएँ लिखिए। |
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Answer» ‘गद्यगीत’ अथवा ‘गद्यकाव्य’ गद्य और काव्य के बीच की विधा है। इसकी प्रमुख विशेषताएँ इस प्रकार हैं– ⦁ इसमें अनुभूति की सघनता होती है, |
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गद्यगीतों का आरम्भ किस लेखक के किस ग्रन्थ से माना जाता है ? |
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Answer» गद्यगीतों का आरम्भ राय कृष्णदास के ‘साधना-संग्रह’ नामक ग्रन्थ से माना जाता है। |
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उस लेखिका का नाम बताइए, जिसको आधुनिक मीरा के नाम से जाना जाता है। उनकी किन्हीं दो गद्य-रचनाओं के नाम निर्दिष्ट कीजिए। |
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Answer» छायावादी युग की सुप्रसिद्ध लेखिका महादेवी वर्मा को आधुनिक मीरा के नाम से जाना जाता है। उनकी दो गद्य रचनाएँ हैं— ⦁ पथ के साथी तथा |
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महादेवी वर्मा के कुछ संस्मरण-ग्रन्थों के नाम लिखिए। |
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Answer» महादेवी वर्मा द्वारा रचित ‘पथ के साथी’ (संस्मरण), ‘अतीत के चलचित्र’, ‘स्मृति की रेखाएँ’, ‘स्मारिका’ (रेखाचित्रनुमा संस्मरण) आदि संस्मरण-ग्रन्थ हिन्दी साहित्य की अमूल्य निधि हैं। |
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‘तरंगिणी’ के लेखक तथा उसकी गद्य विधा का नाम लिखिए। |
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Answer» लेखक-वियोगी हरि तथा विधा-गद्यकाव्य । |
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गद्य विधा की संख्या है (क) तीन(ख) सात(ग) ग्यारह(घ) पन्द्रह |
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Answer» सही विकल्प है (क) तीन |
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गद्य का महत्त्व समझाइए। |
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Answer» गद्य के द्वारा हम अपने विचारों या भावों को सरल या सहज भाषा के रूप में अभिव्यक्त कर सकते हैं। ज्ञान-विज्ञान आदि सभी क्षेत्रों की सफल, सरल और बोधगम्य अभिव्यक्ति का माध्यम गद्य ही है। |
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सृजनात्मक तथा उपयोगी गद्य की एक-एक विधा का नाम लिखिए। |
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Answer» ⦁ सृजनात्मक गद्य-विधा–निबन्ध ⦁ उपयोगी गद्य-विधा–विज्ञानपरक लेखन |
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भाषा-रूपों के विकास की दृष्टि से गद्य की कितनी कोटियाँ उपलब्ध हैं ? |
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Answer» भाषा-रूपों के विकास की दृष्टि से गद्य की चार कोटियाँ– ⦁ वर्णनात्मक |
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गद्य का अर्थ लिखिए। |
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Answer» गद्य हमारे दैनिक जीवन में प्रयुक्त होने वाली भाषा का नाम है। इसकी विषय-वस्तु हमारी बोध-वृत्ति पर आधारित होती है तथा इसमें किसी विषय को विस्तार से कहने की प्रवृत्ति या भावना होती है। गद्य वास्तविकता और व्यावहारिकता से ओत-प्रोत होता है। |
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| 240. |
गद्य का प्रथम विकास किस रूप में होता है ? |
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Answer» गद्य का प्रथम विकास सामान्य बोल-चाल की भाषा के रूप में होता है। |
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गद्य और पद्य (काव्य) में अन्तर बताइए। |
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Answer» गद्य मस्तिष्क के तर्कप्रधान चिन्तन की उपज होता है और छन्दबद्ध, भावपूर्ण तथा ओजयुक्त रचनाएँ काव्य कहलाती हैं। गद्य में विस्तार, वास्तविकता तथा व्यावहारिकता अधिक होती है, जबकि काव्य में संकेत-रूप में बात कही जाती है। इसमें काल्पनिकता का प्राधान्य होता है। |
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| 242. |
चन्द्रकांता सन्तति’ रचना है (क) भारतेन्दु युग की(ख) द्विवेदी युग की।(ग) छायावादी युग की(घ) छायावादोत्तर युग की |
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Answer» सही विकल्प है (ख) द्विवेदी युग की। |
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सरस्वती पत्रिका है(क) शुक्ल युग की(ख) द्विवेदी युग की(ग) भारतेन्दु युग की(घ) छायावादी युग की |
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Answer» सही विकल्प है (ख) द्विवेदी युग की |
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| 244. |
श्रीराम शर्मा और राहुल सांकृत्यायन किस युग के निबन्धकार हैं ?(क) भारतेन्दु युग(ख) द्विवेदी युग(ग) शुक्ल युग(घ) शुक्लोत्तर युग |
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Answer» सही विकल्प है (ग) शुक्ल युग |
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| 245. |
‘पन्दहा’ (आजमगढ़, उत्तर प्रदेश) जन्म-स्थान है (क) हजारीप्रसाद द्विवेदी को(ख) राहुल सांकृत्यायन को(ग) भारतेन्दु हरिश्चन्द्र का(घ) मोहन राकेश का |
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Answer» सही विकल्प है (ख) राहुल सांकृत्यायन को |
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| 246. |
‘नासिकेतोपाख्यान’ के लेखक हैं– (क) लल्लूलाल(ख) सदासुखलाल(ग) सदल मिश्र(घ) इंशाअल्ला खाँ |
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Answer» सही विकल्प है (ग) सदल मिश्र |
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‘सन्नाटा’ के रचनाकार हैं (क) महावीरप्रसाद द्विवेदी(ख) राय कृष्णदास(ग) भारतेन्दु हरिश्चन्द्र(घ) स० ही० वात्स्यायन ‘अज्ञेय’ |
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Answer» सही विकल्प है (घ) स० ही० वात्स्यायन ‘अज्ञेय’ |
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हिन्दी साहित्य के आधुनिक काल को गद्य काल की संज्ञा किसने दी ?(क) भारतेन्दु हरिश्चन्द्र(ख) महावीरप्रसाद द्विवेदी(ग) आचार्य रामचन्द्र शुक्ल(घ) बाबू श्यामसुन्दर दास |
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Answer» सही विकल्प है (ग) आचार्य रामचन्द्र शुक्ल |
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रिपोर्ताज विधा का प्रारम्भिक युग हैया‘रिपोर्ताज’ साहित्य विधा किस युग की देन है ?(क) द्विवेदी युग(ख) छायावाद युग(ग) छायावादोत्तर युग(घ) भारतेन्दु युग |
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Answer» सही विकल्प है (ग) छायावादोत्तर युग |
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निम्नलिखित में असत्य कथन है(क) गद्य व्याकरण सम्मत वाक्यबद्ध रचना है।(ख) गद्य प्रधानतया विचार, तर्क चिन्तन एवं विश्लेषण प्रधान होता है।(ग) गद्य में लय, यति एवं गति आदि का महत्त्व होता है।(घ) आज का युग गद्य प्रधान है। |
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Answer» (ग) गद्य में लय, यति एवं गति आदि का महत्त्व होता है। |
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