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1.

दृश्य किरणों की अपेक्षा पराबैंगनी किरणों की ऊर्जा अधिक होती है। क्यों ?

Answer» विधुत-चुंबकीय तरंग का विस्तार सूक्षम तरंगदैधर्य की गामा किरणों से लेकर रेडियो तरंगो के बीच होता है। मेक्स प्लांट के अनुसार, प्रकश की संचरण कणिका (corpuscle ) के रूप में होता है जिसकी ऊर्जा विकिरण की आवृत्ति के समानुपाती होती है, अर्थात
`E=hv=(hc)/(lamda)`
जहॉं, h = प्लांक नियतांक, c = प्रकाश की चाल `lamda=` विकिरण का तरंगदैधर्य चूँकि, दृश्य प्रकाश के सभी घटको की अपेक्षा पराबैंगनी किरणों का तरंगदैधर्य अत्यधिक छोटी होती है, इसलिए पराबैंगनी किरणों की ऊर्जा `(E=(hc)/(lamda))` का मान दृश्य किरणों की ऊर्जा की अपेक्षा अधिक होता है।
2.

निम्नलिखित तरंगो की पहचान करे की वे विधुत चुंबकीय स्पेक्ट्रम के किस भाग में मिलते है- (i) जो वायुयान की खोज करनेवाले राडार के लिए उपयुक्त है (ii) विधुत-चुंबकीय स्पेक्ट्रम के निम्न आवृत्ति के निकट (iii) नाभिकीय अभिक्रिया में उत्पन्न होनेवाली (iv) उच्च गति वाले एलेक्ट्रोनो द्वारा धातु के लक्ष्य (target ) का बामवर्णन करने पर उत्पन्न होनेवाले

Answer» (i) सूक्षम तरंगे (ii) रेडियो तरंगे (iii) गामा किरणे (ix) X -किरणे।
3.

एक एक्स-किरण नली पर कितना विभव लगाया जाए कि एक्स किर्णो का तरंगदैधर्य `1 Å` हो? `(h=6.6xx10^(-34)Js, e=1.6xx10^(-19)C` तथा प्रकाश की चाल `=3xx10^(8)ms^(-1))`

Answer» मान लिया कि विभव का मान V है।
इलेक्ट्रॉन की ऊर्जा E=eV तथा एक्स किरण की ऊर्जा E=hv `thereforeeV=hv` या `V=(hv)/(e),`फिर `v=(c)/(lamda), thereforeV=(hc)/(elamda)`
`h=6.6xx10^(34)Js, c=3xx10^(8)ms^(-1), e=1.6xx10^(-19)C`तथा `lamda=1Å=10^(-10)m.`
`thereforeV=(6.6xx10^(-3)4xx3xx10^(8))/(1.6xx10^(-19)xx10^(-10))V=99/8xx10^(3)V=12.375xx10^(3)V=12.375kV.`
अतः एक्स किरण नली पर लगाया गया विभव `=12.4kV.`
4.

चुम्बकीय क्षेत्र B तथा विधुत-क्षेत्र E के अनुपात (B /E ) का मात्रक होता हैA. `ms^(-1)`B. `sm^(-1)`C. `ms`D. `ms^(-2)`

Answer» Correct Answer - B
5.

बेतारी तार संचार का अविष्कार किया थाA. मैक्सवेल नेB. हर्ट्ज नेC. मारकोनी नेD. जगदीशचंद्र बसु ने

Answer» Correct Answer - C
6.

किस विधुत-चुंबकीय विकिरण कि ऊर्जा 13.2 keV है । यह विकिरण जिस क्षेत्र से सम्बंधित है, वह हैA. दृश्य प्रकाशB. पराबैंगनीC. X - किरणD. अवरक्त

Answer» Correct Answer - C
`E=13.2keV=(hc)/(lamda), lamda=(hc)/(E)=(12420eVÅ)/(13.2xx10^(3)eV)=0.94Å.`
7.

निम्नलिखित में कौन सबसे अधिक आवृत्त कि विधुत-चुंबकीय तरंगे है ?A. गामा किरणेB. X -किरणेC. पराबैंगनी विकिरणD. अवरक्त विकिरण

Answer» Correct Answer - A
8.

चालान धारा तथा विस्थापन धारा की प्रकृति एक दूसरे से भिन्न होते हुए भी उनका योगफल संतत (continuous ) होता है । इस कथन की व्याख्या करे ।

Answer» चालन धारा (conducation current ) `I _(c )` मुलत: विधुत-आवेश के यथार्थ प्रवाह के कारण होती है, अर्थात `I_(c)=(dQ)/(dt),` लेकिन विथापन धारा `I_(d)` का अस्तित्व समय के साथ परिवर्तन विधुत-क्षेत्र के कारण होता है, अर्थात `I_(d)=epsi_(0)(d phi_(E))/(dt)=epsi_(0)(dt(AE))/(dt)=A(d(epsi_(0)E))/(dt)=A(dD)/(dt),` यहाँ `vecD=epsi_(0)vecE` को विधुत विस्थापन सदिश कहा जाता है। स्पष्टता , दोनों की प्रकृति एक-दूसरे से भिन्न है। संधारित की आवेशन प्रक्रिया के क्रम में इसकी प्लेटो के बीच आवेश का प्रवाह नहीं होता, फलता चलन धरा शून्य है तथा संधारित्र के बाहर विस्थापन धारा शून्य है, लेकिन दोनों का योगफल, अर्थात `I_(c)+I_(d)` का मान परिपथ के प्रत्येक बिंदु पर समान रहता है, अर्थात `(I_(c)+I_(d))` संतत है ।
9.

प्रयोगशाला में विधुत-चुंबकीय तरंगो के उत्पन्न करने उनके अस्तित्व का सर्वप्रथम प्रदर्शन किसने किया ?A. मैक्सवेल नेB. हर्ट्ज नेC. मारकोनी नेD. जगदीशचंद्र बसु ने

Answer» Correct Answer - B
10.

निम्नलिखित में कौन विधुत-चुंबकीय तरंग नहीं है ?A. प्रकाश तरंगेB. एक्स किरणेC. ध्वनि-तरंगेD. अवरक्त किरणे

Answer» Correct Answer - C
11.

निम्नलिखित में किनका उपयोग पौधा-घरो में होता है ?A. गामा किरणों काB. X -किरणों काC. पराबैंगनी किरणों काD. अवरक्त किरणों का

Answer» Correct Answer - D
12.

विधुत-चुंबकीय तरंग के लिए रेखिक संवेग (linear momentum ) का व्यंजक प्राप्त करे।

Answer» विधुत-चुंबकीय तरंग के संचरण में ऊर्जा U तथा रैखिक संवेग (linear momentum ) p भी सन्नहित रहते है। आइंस्टीन के सापेक्षवाद (relativity ) के सिद्धांत के अनुसार कुल ऊर्जा के लिए सूत्र है
`U=sqrt(p^(2)c^(2)+m_(0)^(2)c^(4))," "…(1)`
जहॉं `m_(0)c^(2)=` विराम द्रव्यमान में निहित ऊर्जा।
अब चूँकि विधुत-चुंबकीय तरंग की चाल c है तथा इसके फोटॉन (photon ) का विराम द्रव्यमान `(m_(0))` शून्य होता है, अतः समीकरण 1 से `U=pc.`
अतः ऊर्जा U युक्त विधुत-चुंबकीय तरंग का रैखिक संवेग `p=U/c.`
13.

जब प्रकाश का शून्य में गमन करता है, तो उसके साथ जुड़े विधुतीय क्षेत्र एव चुम्बकीय क्षेत्रA. समय के साथ स्थिर रहते हैB. का औसत मान शून्य होता हैC. का औसत मान शून्य से अधिक होता हैD. रैंडम ढंग से बदलते रहते है

Answer» Correct Answer - B
14.

निम्नलिखित में से किस वैज्ञानिक ने सर्वप्रथम यह पता लगाया कि प्रकाश भी विधुत-चुंबकीय तरंग है?A. जगदीशचंद्र बसुB. मारकोनीC. हर्ट्जD. मैक्सवेल

Answer» Correct Answer - D
15.

विधुत-चुंबकीय तरंग के संचरण कि दिशा होती हैA. `vecE`के समांतरB. `vecE` के समांतरC. `vecBxxvecE` के समांतरD. `vecExxvecB`के समांतर

Answer» Correct Answer - B
16.

निर्वात में X -अक्ष के अनुदिश गतिमान विधुत-चुंबकीय तरंग के लिए किसी बिंदु पर विधुत-क्षेत्र `vecE=(6।3Vm^(-1))hatj` हो तो उस बिंदु पर चुंबकीय क्षेत्र `vecB` ज्ञात करे। तरंग कि आवृत्ति 25 MHz है।

Answer» Correct Answer - `(2.1xx10^(-8)T)hatk`
विधुत-चुंबकीय तरंग के संचरण कि दिशा `vecExxvecV` कि दिशा होती है। अतः `hatjxxhatB=hati,` स्पष्ट: `vecB` कि दिशा `hatk` के अनुदिश, अर्हतात Z की घनात्मक दिशा में होगी सिद्धांत से ।`E/B=c,`
अतः `B=E/c=(6.3Vm^(-1))/(3xx10^(8)ms^(-1))=2.1xx10^(-8)T. `
17.

किसी विधुत-चुंबकीय तरंग का `vecE`सदिश X -अक्ष के अनुदिश तथा `vecH` सदिश Z -अक्ष के अनुदिश है। उस तरंग कि गति दिशा होगीA. X-अक्ष के अनुदिशB. Y-अक्ष के अनुदिशC. Z-अक्ष के अनुदिशD. किसी भी दिशा में

Answer» Correct Answer - B
18.

निर्वात में X -अक्ष के अनुदिश संचरित विधुत-चुंबकीय तरंग का विधुत-क्षेत्र `E=(40NC^(-1))sin (omegat-kx)` से व्यक्त हो, तो X -अक्ष के समांतर `10cm^(2)` अनुप्रस्थ काट एव 50 cm लम्बाई के बेलन (cylindar ) में निहित ऊर्जा तथा तरंग की तीव्रता का मान ज्ञात करे ।

Answer» माधय ऊर्जा-घनत्व (average energy density )
`u_(av)=1/2epsi_(0)E_(0)^(2)=1/2(8.85xx10^(-12)C^(2)N^(-1)m^(-2))(40NC^(-1))^(2)=7.08xx10^(-9)J m^(-3).`
अब बेलन का आयतन, `V=Al=(10cm^(2))(50cm) =5xx10^(-4)m^(3).`
`therefore` बेलन के निहित ऊर्जा
`U=(u_(av))(V)=(7.08xx10^(-9)Jm^(-3))(5xx10^(-4)m^(3))=35.4xx10^(-13)J.`
अब तरन की तीव्रता (intensity )
`I=1/2epsi_(0)E_(0)^(2)c `
`=(7.08xx10^(-9)Jm^(-3))(3xx10^(8)ms^(-1))=2.12W m^(-2).`
19.

बहुमूल्य नगो (precious stones ) की पहचान में कौन सहायक होता है ?A. पराबैंगनी किरणेB. अवरक्त किरणेC. एक्स किरणेD. इनमे कोई नहीं

Answer» Correct Answer - A
20.

एक्स किरणों के तरंगदैधर्य का क्रम होता हैA. 1 cmB. 1mC. 1 micronD. `1Å`

Answer» Correct Answer - D
21.

किसी समतल विधुत-चुंबकीय तरंग में आवर्ती चुंबकीय क्षेत्र का व्यंजक निम्नलिखित है `B_(y)=(2xx10^(-7)T)sin [0।5xx10^(3)m^(-1))x+(1।5xx10^(11)s^(-1))t]` (a) तरंग की आवृत्ति तथा तरंगदैधर्य ज्ञात करे। (b) विधुत-क्षेत्र के लिए व्यंजक लिखे।

Answer» Correct Answer - `23.9GHz, 1.26cm,E_(z)=(60Vm^(-1))sin[(0.5xx10^(3)m^(-1))x+(1.5xx10^(11)s^(-1))t`
(a) दिए गए समीकरण की तुलना प्रगामी तरंग के समीकरण के साथ करते है। `B_(y)=B_(0)sin((2pi)/(lamda)x+ omegat)।`
स्पष्ट: `(2pi)/(lamda)=0।5xx10^(3)m^(-1),` अतः `lamda=(2(3।14))/(0।5xx10^(3))m=1।256cm।`
तरंग की आवृत्ति `f=(omega)/(2pi)=((1।5xx10^(11)s^(-1)))/((2xx3।14))=0।239xx10^(11)Hz=23।9xx10^(9)Hz।`
(b) `c=(E_(0))/(B_(0)),E_(0)=B_(0)xxc=(2xx10^(-7)T)(3xx10^(8)ms^(-1))=60Vm^(-1)।`
प्रश्न से तरंग का संचरण x -दिशा में तथा `vecB` y -दिशा में है, अतः विधुत-क्षेत्र दोनों दिशाओ के लंबवत, अर्थात z दिशा के अनुरेखा होगा।
`therefore` अभीष्ट व्यंजक, `E=(60Vm^(-1))sin[(0.5xx10^(3)m^(-1))x+(1.5xx10^(11)s^(-1))t.`
22.

किसी विधुत-चुंबकीय तरंग में दोलनी विधुत-क्षेत्र (oscillating electric field ) का आयाम `20Vm^(-1)` है। इसके विधुत-क्षेत्र का ऊर्जा-घनत्व ज्ञात करे।

Answer» Correct Answer - `8.85cc10^(-10)Jm^(-3)`
ऊर्जा-घनत्व `=1/4 in_(0)E_(0)^(2).`
23.

निर्वात में संचारित विधुत-चुम्बकीय क्षेत्र को निम्नलिखित समीकरणों से व्यक्त किया जाता है- `E=E_(0)sin(omegat-kx),B=B_(0)sin (omegat-kx),` तबA. `E_(0)omega=B_(0)k`B. `E_(0)B_(0)=omegak`C. `E_(0)k=B_(0)omega`D. इनमे से कोई नहीं

Answer» Correct Answer - C
24.

विधुत-चुंबकीय तरंग कि उत्पति का मूल कारण हैA. आवेश कि एकसमान गतिB. आवेश कि त्वरित गतिC. आवेश कि स्थिर गतिD. तार से प्रवाहित एकसमान धारा

Answer» Correct Answer - D
25.

x -अक्ष के अनुदिश संचरित विधुत-चुंबकीय तरंग के विधुत-क्षेत्र का महत्तम मान `600NC^(-1)` है। यदि विधुत-शटर की दिशा y -अक्ष के समांतर हो , तो चुंबकीय क्षेत्र का महत्तम मान तथा इसकी दिशा ज्ञात करे।

Answer» `vecE_(0)=600NC^(-1)hatj,` अर्थात y -अक्ष के समांतर । अतः चुंबकीय क्षेत्र x-y तल के लंबवत, अर्हतात z -अक्ष के अनुदिश होगा। सूत्र से ,
प्रकाश की चाल, `c=(E_(0))/(B_(0)) `
`thereforeB_(0)=(E_(0))/(c)=((600N C^(-1)))/((3xx10^(8)ms^(-1)))=2xx10^(-6)T.`
26.

संधारित्र के आवेशन के क्रम में इसकी प्लेटो के बिच रहता हैA. केवल विधुत-क्षेत्र `(vecE)`B. केवल चुंबकीय क्षेत्र `(vecB)`C. `vecE` एव `vecB` दोनों एक ही दिशा मेंD. `vecE` एव `vecB` दोनों परस्पर लंबवत दिशाओ में

Answer» Correct Answer - D
27.

विधुत-चुंबकीय तरंग में विधुत-क्षेत्र और चुंबकीय-क्षेत्र के परिणामो के बिच संबंध हैA. `B_(0)=CE_(0)`B. `E_(0)=CB_(0)`C. `E_(0)B_(0)=C`D. इनमे कोई नहीं

Answer» Correct Answer - b
28.

x -अक्ष की दिशा में संचारित समतल विधुत-चुम्बकीय तरंग का तरंगदैधर्य 5 mm है। यदि y -अक्ष के अनुदिश इसके विधुत-क्षेत्र का आयाम (amplitude ) `30Vm^(-1)` हो, तो परिवर्तित विधुत-क्षेत्र E तथा चुम्बकीय क्षेत्र B को स्थिति (x ) तथा समय (t ) के फलां (function ) के रूप में व्यक्त करे।

Answer» `lamda=5mm =5xx10^(-3)m, E_(0)=30 V m^(-1),`
`thereforeB_(0)=(E_(0))/(c)=(30Vm^(-1))/(3xx10^(8)ms^(-1))=10^(-7)T`
`therefore` विधुत-चुंबकीय तरंग के E -घटक के लिए प्रगामी तरंग के समीकरण के आधार पर
`E_(y)=E_(0)sin(omegat-(2pi)/(lamda)x)`
`=E_(0)sin ""(2pi)/(lamda)(ct-x).`
`thereforeE_(y)=(30Vm^(-1))sin ""(2pixx10^(3))/(5m)(ct-x)*`
29.

किसी समांतर प्लेट संधारित की त्रिज्या 12 cm है तथा उनके बिच 5 mm की दुरी है। बाह्य स्त्रोत द्वारा संधारित्र के आवेशन के क्रम में `0।12A` की चालन धारा बनी रहती है। के नाम ज्ञात करे- (a) संधारित की विधुत-ज्ञात करे- (b) स्थिर चालन के लिए प्लेटो के बिच विभवांतर के परिवर्तन की दर `((dV)/(dt))` (c ) प्लेट की बिच विस्थापन धारा

Answer» त्रिज्या `R=12cm=12xx10^(-2)m.`
क्षेत्रफल `A=piR^(2)=pi(12xx10^(-2)m)^(2)`तथा
`d=mm =5xx10^(-3)m.`
(a) संधारित की विधुत-धारिता `C=(epsi_(0)A)/(d)=((1Fm^(-1)))/(4pi(9xx10^(9)))(pi(12xx10^(-2)m)^(2))/((5xx10^(-3)m))`
`=(144xx10^(-4))/(36xx5xx10^(6)F)=F=80xx10^(-12)F.`
(b) आवेशन के क्रम के चालन धारा
`I=(dq)/(dt)=(d)/(dt)(CV)=C(dV)/(dt)`
`therefore` विभवांतर के परिवर्तन की दर
`(dV)/(dt)=I/C=(0.15A)/(80xx10^(-12)F)=1.87xx10^(9)Vs^(-1).`
(c) विस्थापन धारा `I_(d)=epsi_(0)(dphi_(E))/(dt)=epsi_(0)A(dE)/(dt)`
`=epsi_(0)A(d)/(dt)((V)/(d))=(epsi_(0)A)/(d)(dV)/(dt)`
`=C(dV)/(dt)" "[because` धारिता `C=(epsi_(0)A)/(d)`
`=(d)/(dt)(CV)=(dq)/(dt)=I=0.15A.`