InterviewSolution
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This section includes InterviewSolutions, each offering curated multiple-choice questions to sharpen your knowledge and support exam preparation. Choose a topic below to get started.
| 1. |
माना कि X एक अरिक्त समुच्चय है तथा `**,X ` के शक्ति समुच्चय P (X ) पर एक द्विआधारी संक्रिया है जो `A **B = A cup B ` सभी `A , B in P (X ) ` के लिए। साबित करें कि `**`, समुच्चय P (X ) पर क्रमविनिमेय तथा साहचर्य दोनों है। `**` के सापेक्ष P (X ) में तत्समक अवयव निकालें। यह भी साबित करें कि P (X ) का व्युत्क्रमणीय अवयव केवल `phi in P (X )` है। |
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Answer» `A , B , C in P (X )` के लिए। `A cup B = B cup A ` तथा `(A cup B ) cup C = A cup ( B cup C )` `rArr A ** B = B ** A ` तथा `(A ** B ) ** C = A ** (B **C )` इस प्रकार `**, P (X )` पर क्रमविनिमेय तथा साहचर्य दोनों है। हम जानते है कि `A cup phi = A = phi cup A ` सभी `A in P (X )` के लिए `rArr A ** phi = A = phi ** A ` सभी `A in P (X )` के लिए अतः `**` के लिए P (X ) में तत्समक अवयव `phi ` है। माना कि `A in P (X )` एक व्युत्क्रमणीय अवयव है, तो ऐसा `S in P (X )` मिलेगा ताकि `A ** S = phi = S ** A ` `rArr A cup S = phi = S cup A rArr S = A = phi ` इस प्रकार सिर्फ `phi ` ही व्युत्क्रमणीय अवयव है। |
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| 2. |
दिखाएँ कि एक अवयव a वाले किसी समुच्चय पर परिभाषित सभी द्विआधारी संक्रियाएँ क्रमविनिमेय तथा साहचर्य होते हैं तथा a तत्समक अवयव है और a , a का प्रतिलोम है। |
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Answer» माना कि `A={a}` माना कि `**` , समुच्चय A पर एक द्विआधारी संक्रिया है। चूँकि `**`, समुच्चय A पर द्विआधारी संक्रिया है, ` " " therefore a **a in A` लेकिन A के केवल एक अवयव a है, ` " " therefore a **a =a` इस प्रकार `a **a = a**a=a` साथ ही `a**(a**a) = a**a=a " " [ because a ** a = a]` तथा `(a**a)**a=a**a= a " "[because a **a=a]` `therefore a **(a**a)=(a **a)**a` पुनः `AA b in A, a **b = b**a=a " " [ because b in A rArr b =a` तथा `a**a=a]` अतः a तत्समक अवयव है। पुनः `a **a = a` ( तत्समक अवयव ) `therefore ` a का प्रतिलोम a है। |
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| 3. |
माना कि X एक अरिक्त समुच्चय हैं तथा माना कि `**, P (X )` (X का शक्ति समुच्चय ) पर एक द्विआधारी संक्रिया है जो इस प्रकार परिभाषित है। `A ** B = A cap B, A , B in P(X) ` `**` के सापेक्ष P (X) का तत्समक अवयव निकालें। |
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Answer» माना कि संक्रिया `**` के लिए P (X ) में तत्समक अवयव E है। तो, `A **E = AE **A` सभी `A in P(X)` के लिए `rArr A cap E = A = E cap A` सभी `A sube X` के लिए `rArr E = X.` इस प्रकार `**` के लिए P(X) में तत्समक अवयव X है। |
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| 4. |
माना कि X एक अरिक्त समुच्चय हैं तथा माना कि `**, P (X )` (X का शक्ति समुच्चय ) पर एक द्विआधारी संक्रिया है जो इस प्रकार परिभाषित है। `A ** B = A cap B, A , B in P(X) ` दिखाएँ कि P(X) का केवल अवयव X ही व्युत्क्रमणीय है। |
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Answer» माना कि P (X ) में A व्युत्क्रमणीय अवयव है तथा B इसका प्रतिलोम है। तो, `A **B = X =B **A` `rArr A cap B = X = B cap A` `rArr A = B = X " " [ because A sube X, B sube X]` इस प्रकार केवल X , P(X) का `**` के सापेक्ष व्युत्क्रमणीय अवयव है तथा यह स्वयं अपना प्रतिलोम है। |
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| 5. |
माना कि `A = Q xx Q ` माना कि `**`, A पर एक द्विआधारी संक्रिया है जो `(a , b ) ** (c , d )=(ac , ad +b )` द्वारा परिभाषित है। तो, A का व्युत्क्रमणीय अवयव निकालें। |
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Answer» माना कि `(a , b ) in A ` व्युत्क्रमणीय है तो ऐसा `(c , d ) in A ` मिलेगा ताकि `(a , b ) **(c , d ) = (1 , 0 ) = (c , d )**(a ,b ) ` इसलिए `(ac , ad + b ) = (1 , 0 ) rArr ac = 1 , ad + b = 0 ` इसलिए `c = (1 )/(a ), d = - (b )/(a )` यदि `a ne 0 ` यह देखा जा सकता है कि `((1)/(a),(-b)/(a))**(a,b)=((1)/(a)*a, (1)/(a)*b+(-(b)/(a)))=(1,0)` इस प्रकार `(a-b)^(-1)=((1)/(a),(-b)/(a))`. यदि a = 0 तो `(0 , b )` व्युत्क्रमणीय नहीं है क्योंकि `(0 , b )` व्युत्क्रमणीय होने पर ऐसा `(c , d ) in A ` मिलेगा ताकि `(0 , b ) ** (c , d )= (1 , 0 )` इसलिए `(0 , b ) = (1 , 0 )` जो सही नहीं है। इस प्रकार A के केवल वही अवयव व्युत्क्रमणीय है जो `(a , b ) , a ne 0 ` के रूप का है तथा `(a , b )^( -1 )=((1 )/(a ), (-b )/(a ))` |
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| 6. |
माना कि `A=N xx N`, तथा माना कि `**`, A पर द्विआधारी संक्रिया है जो `(a,b)**(c,d)=(ad+bc,bd)` सभी `(a,b),(c,d) in N xx N` के लिए। दिखाएँ कि `**`, A पर साहचर्य है। |
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Answer» `(a,b),(c,d), (e,f) in A` के लिए, `{(a,b)**(c,d)}**(e,f)=(ad+bc,bd)**(e,f)` `=((ad+bc)f+(bd) e, (bd)f)` `=(adf+bcf+bde, bdf) " " ` ...(1) [ चूँकि योग ( + ) तथा गुणन (.) N पर क्रम विनिमेय है। ] तथा `(a,b)**{(c,d)**(e,f)} =(a,b)**(cf+de,df) ` `=(a(df)+b(cf+de), b(df))` `=(adf+bcf+bde, bdf) " " ` ...(2) (1 ) और (2 ) से, `{(a,b)**(c,d)}**(e,f)=(a,b)**{(c,d)**(e,f)}` सभी `(a,b),(c,d),(e,f) in A` के लिए अतः `**`, समुच्चय A पर साहचर्य है। |
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| 7. |
माना कि `A=NN cup {0}xxNN cup {0}` तथा माना कि `**`, `A` पर एक द्विआधारी संक्रिया है जो इस प्रकार परिभाषित है, `(a, b)**(c,d)=(a+c,b+d)` सभी `(a,b),(c,d) in A` के लिए । साबित करें कि `**`, समुच्चय `A` पर साहचर्य है। `A` में तत्समक अवयव भी निकालें यदि इसका अस्तित्व है। |
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Answer» साहचर्य : `(a,b),(c,d),(e,f)in A` के लिए, `{(a,b)**(c,d)}**(e,f)=(a+c,b+d)**(e,f)` `=((a+c)+e,(b+d)+f)` `=(a+(c+e),b+(d+f)) " " `[`because` योग (+), N पर साहचर्य है] `=(a,b)**(c+e,d+f)` `=(a,b)**{(c,d)**(e,f)}` अतः `**`, समुच्चय A पर साहचर्य है। माना कि (x, y), A में तत्समक अवयव ( indentity element ) है। तब, `(a,b)**(x,y)=(a,b)` सभी `(a,b) in A` के लिए `rArr (a+x,b+y)=(a,b)` सभी `(a,b) in A` के लिए `rArr a+x=a,b+y=b` सभी `a,b in N cup {0}`के लिए `rArr x = 0, y = 0` `therefore (x,y)=(0,0)` स्पष्टतः `(0,0) in A` साथ ही `(0,0) **(a,b)=(0+a,0+b)=(a,b)` सभी `(a, b) in A` के लिए इस प्रकार (0, 0) समुच्चय A में तत्समक अवयव है। |
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| 8. |
`**` , समुच्चय Q पर परिभाषित एक द्विआधारी संक्रिया है। ज्ञात करें कि संक्रिया साहचर्य है। `a ** b = ab^(2) AA a , b in Q` |
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Answer» `(a ** b)**c=(ab^(2))**c=ab^(2)c^(2) " " ` ….(1) `a **(b**c) = a **(bc^(2))=ab^(2)c^(4) ne (a **b)**c " " ` [(1) से ] अतः संक्रिया `**` साहचर्य नहीं है । |
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| 9. |
माना कि N पर `a **b=LCM(a , b)` सभी `a, b in N` द्वारा प्रदत्त द्विआधारी संक्रिया `**` है। N के कौन-कौन अवयव व्युत्क्रमणीय है ? उन्हें निकालें। |
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Answer» माना कि N में a व्युत्क्रमणीय अवयव है। तो ऐसा ` b in N ` मिलेगा ताकि `a ** b = 1 ` `rArr LCM (a , b )=1 ` `rArr a = b = 1 ` इस प्रकार N का केवल एक अवयव 1 व्युत्क्रमणीय है। |
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| 10. |
समुच्चय Q पर परिभाषित एक द्विआधारी संक्रिया है। ज्ञात करें कि द्विआधारी संक्रिया क्रमविनिमेय है। `a **b = a + ab AA a , b in Q ` |
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Answer» `a **b=a+ab` `b ** a =b + ba ne q +ab AA a, b in Q ` तथा `a ne b` के लिए । अतः संक्रिया * क्रमविनिमेय है। |
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| 11. |
समुच्चय Q पर परिभाषित एक द्विआधारी संक्रिया है। ज्ञात करें कि द्विआधारी संक्रिया क्रमविनिमेय है। `a**b=a^(2)+b^(2)AA a , b in Q` |
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Answer» `a **b =a^(2)+b^(2)=b^(2)+a^(2)=b**a,` सभी `a, b in Q` के लिए अतः संक्रिया * क्रमविनिमेय है। |
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| 12. |
समुच्चय Q पर परिभाषित एक द्विआधारी संक्रिया है। ज्ञात करें कि द्विआधारी संक्रिया क्रमविनिमेय है। `a**b = a-b AA a, b in Q` |
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Answer» `a ** b = a - b ` `therefore b **a = b - a ne a -b AA a , b in Q` तथा `a ne b` के लिए । अतः संक्रिया * क्रमविनिमेय नहीं है। |
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| 13. |
यदि समुच्चय R पर `**, a ** b = 2a + 3b AA a , b in R ` , द्वारा परिभाषित एक द्विआधारी संक्रिया है, तो दिखाएँ कि `**` साहचर्य नहीं है। |
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Answer» `a ** (b **c)=a **(2b +3c ) ` `=2a+3(2b+3c)=2a+6b+9c` तथा `(a **b)**c=(2a+3b)**c` `=2(2a+3b)+3c` `=4a+6b+3c` `therefore a**(b**c) ne (a **b)**c` अतः `**` साहचर्य नहीं है। |
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| 14. |
माना Q सभी परिमेय संख्याओं का समुच्चय है। Q - {1 } पर एक संक्रिया इस प्रकार परिभाषित है `a ** b = a + b - ab ` क्या `a ** , Q - {1 }` पर एक द्विआधारी संक्रिया है ? |
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Answer» माना कि `a, b in Q-{1} ` तो `a ne 1, b ne 1` अब `a ** = a+b-ab in Q-{1}` `hArr a+b-ab ne 1` `hArr (a-1)-ab+b ne 0` `hArr (a-1) -ab +b ne 0` `hArr (a-1) -(a-1)b ne 0` `hArr (a-1)(a-b)ne 0` `hArr a ne 1` और `b ne 1` जो की सत्य है। इस प्रकार, ` a, b in Q -{1} rArr a **b in Q-{1}` अतः, `**` , समुच्चय `Q - {1 }` पर एक द्विआधारी संक्रिया है। |
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| 15. |
यदि `** ` प्राकृत संख्याओं के समुच्चय N पर एक द्विआधारी संक्रिया है जो इस प्रकार परिभाषित है `a ** b = a ^(b )`, तो `(i ) 2 ** 3 (ii ) 3 ** 2 ` निकालें । |
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Answer» `a **b=a^(b)` `therefore 2 **3=2^(3)=8` तथा `3** 2 = 3^(2) =9` |
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| 16. |
माना कि `A={a, b, c}`। A पर द्विआधारी संक्रियाओं के संख्या निकालें । |
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Answer» यहाँ m = A में अवयवों के संख्या = 3 `therefore n (A xx A ) = 3 xx 3 = 3^(2) = 9 ` `therefore ` A पर द्विआधारी संक्रियाओं की संख्या `=A xx A` से A में फलनों के संख्या `=(n(A))^(n(A xx A))=3^(9) = 19683` |
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| 17. |
Q पर निम्न प्रकार से परिभाषित द्विआधारी संक्रिया `**` के क्रमविनिमेय तथा साहचर्य होने की जाँच करें। `a **b=a-b+ab` सभी `a, b in Q` के लिए |
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Answer» यहाँ `a **b = a -b +ab` सभी `a, b in Q` के लिए। क्रमविनिमेय: सभी `a, b in Q` के लिए, `a **b=a-b+ab` तथा `b**a=b-a+ba` चूँकि `a-b+ab ne b - a +ba` कुछ `a , b in Q` के लिए [ हम `a=1, b = 2` ले सकते है ] `therefore a **b ne b **a` अतः `**`, समुच्चय पर क्रमविनिमेय नहीं है। साहचर्य : माना कि `a, b, c in Q`. तो `a**(b**c)=a**(b-c+bc)` `=a-(b-c+bc)+a(b-c+bc)` `= a-b+c-bc+ab-ac+abc " " ` ...(1) तथा `(a**b)**c=(a-b+ab)c` `=(a-b+ab)-c+(a-b+ab)c` `=a-b+ab-c+ac-bc+ab` `=a-b-c+ab+ac-bc+abc " " ` ...(2) (1 ) से (2 ) से, `a**(b**c)ne(a**b)**c` कुछ `a,b,c in Q` के लिए [`a=0, b=1,c=2` के लिए] अतः `**`, समुच्चय Q पर साहचर्य है। |
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| 18. |
R पर निम्न प्रकार से परिभाषित द्विआधारी संक्रिया `**` के क्रमविनिमेय तथा साहचर्य होने की जाँच करें : `a**b=a+b+ab` सभी `a, b in R` के लिए जहाँ दायें पक्ष में वास्तविक संख्याओं का सामान्य योग ओर गुणन की क्रिया है। |
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Answer» यहाँ `a **b = a +b + ab ` सभी `a , b in R ` के लिए । क्रमविनिमेय : माना कि a और b समुच्चय R के कोई दो अवयव है। तो, `a**b=a+b+ab` तथा `b**a=b+a+ba` हम जानते है कि वास्तविक संख्याओं का योग तथा गुणन दोनों क्रमविनिमेय द्विआधारी संक्रियाएँ हैं, `therefore a+b+ab=b+a+ba` सभी `a,b in R` के लिए `rArr a **b=b**a` सभी `a,b in R` के लिए, अतः `**`, समुच्चय R पर क्रमविनिमेय है। साहचर्य: सभी `a, b, c in R` के लिए, `a**(b**c)=a**(b+c+bc)` `=a+(b+c+bc)+a(b+c+bc)` `=a+b+c+bc+ab+ac+abc` [ चूँकि R पर योग और गुणन क्रमविनिमेय तथा साहचार्य है तथा गुणन योग के सापेक्ष वितरित होता है ] `=a+b+c+ab+bc+ca+abc " " ` ...(1) तथा `(a**b)**c=(a+b+ab)**c` `=(a+b+ab)+c+(a+b+ab)c` `=a+b+ab+c+ac+bc+abc` `=a+b+c+ab+bc+ca+abc " " ` ....(2) (1 ) तथा (2 ) से, `a**(b**c)=(a**b)**c` सभी `a, b , c in R` के लिए अतः `**`, R पर साहचर्य है। |
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| 19. |
माना कि `A = N xx N ` तथा A में `(a , b ) ** (c , d ) = (ac , bd )` सभी `a , b , c , d in N ` के लिए द्वारा परिभाषित एक द्विआधारी संक्रिया है। सिद्ध करें कि `**` क्रमविनिमेय तथा साहचर्य है। |
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Answer» माना कि `(a , b ), (c , d ) in N xx N ` तो, `a , b , c , d in N ` अब , `a , b , c in N rArr ac , bd in N ` `rArr (ac , bd ) in N xx N ` इस प्रकार `(a , b ), (c , d ) in N xx N ` `rArr (ac , bd ) in N xx N ` सभी `a , b , c , d in N ` के लिए `rArr (a , b ) * (c , d ) in N xx N ` `rArr (a , b ) ** (c , d ) in A ` सभी `(a , b ) , (c , d ) in A ` के लिए अतः `** `, समुच्चय A पर एक द्विआधारी संक्रिया है। क्रमविनिमेय : मना कि `(a , b ) , (c , d ) , A ` के कोई दो अवयव है। तो, `(a , b ) **(c , d ) =(ac , ab )` और `(c , d ) ** (a , b ) = (ca , db )` `=(ac , bd )` [ `because ac = ca ` और `bd = db ` सभी `a , b , c , d in N ` के लिए ] `therefore (a , b ) ** (c , d )=(c , d )** (a , b )` अतः ` ** ` , समुच्चय A पर एक क्रमविनिमेय द्विआधारी संक्रिया है। साहचर्य : माना कि `(a , b ), (c , d ), (e , f )in A ` तो, `(a , b ) ** {(c , d ) ** (e , f )}` `=(a , b ) ** (cd , df ) ` `=(a (ce ), b (df ))` `=((ac )e , (bd )f )` [ `because ` गुणन N पर साहचर्य है `therefore (a (ce )=(ac )e )` तथा `b (df )=(bd ) f ] ` `=(ac , bd ) **(e , f )` `={(a , b )**(c , d ) } ** (e , f ) ` अतः `** ` , समुच्चय A पर साहचर्य है । |
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| 20. |
माना कि `**`, प्राकृत संख्याओं के समुच्चय N पर एक द्विआधारी संक्रिया है जो `a **b = a ^(b )` सभी `a , b in N ` द्वारा परिभाषित है। क्या `**`, N पर साहचर्य या क्रमविनिमेय है। |
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Answer» `2**3 = 2^(3 )= 8 ` तथा `3 ** 2 = 3 ^(2 )=9 ` `therefore 2 **3 ne 3 ** 2` अतः `**`, समुच्चय N पर क्रमविनिमेय नहीं है। साथ ही `2**(2**3)=2**2^(3)=2**8=2^(8)=256` तथा `(2**2)**3=2^(2)**3=4**3=4^(3)=64` स्पष्टतः `2**(2**3)^(1)(2**2)**3` अतः `**`, समुच्चय N पर साहचर्य नहीं है। अतः `**`, समुच्चय N पर न तो क्रमविनिमेय है और न साहचर्य है। |
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| 21. |
माना कि `A = Q xx Q ` माना कि `**`, A पर एक द्विआधारी संक्रिया है जो `(a , b ) ** (c , d )=(ac , ad +b )` द्वारा परिभाषित है। तो, A का तत्समक अवयव निकालें। |
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Answer» माना कि `(x , y ) , (A , ** )` का तत्समक अवयव है। तो, `(a , b ) ** (x , y ) = (a , b ) ` सभी `a , b in Q ` के लिए। इसलिए `(ax , ay +b )= (a , b ) ` `rArr ax = a , ay +b = b ` `rArr ax = a , ay = 0 ` सभी `a in Q ` के लिए `a = 1 ` लें, तो `x = 1 , y = 0 ` इसप्रकार `(a , b ) ** (1 , 0 ) = (a * 1 , a * 0 + b ) = (a , b ) ` सभी `a , b in Q ` के लिए अतः `(1 , 0 ) , A ` का तत्समक अवयव है। |
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| 22. |
माना कि `A=N cup {0}xxN cup {0}` तथा माना कि `**`, A पर एक द्विआधारी संक्रिया है जो इस प्रकार परिभाषित है, `(a, b)**(c,d)=(a+c,b+d)` सभी `(a,b),(c,d) in A` के लिए । साबित करें कि `**`, समुच्चय A पर क्रमविनिमेय है। |
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Answer» क्रमविनिमेय : माना कि `(a,b),(c,d) in A.` तो `(a,b)**(c,d)=(a+c,b+d)` तथा `(c,d)**(a,b)=(c+a,d+b)` `because a+c=c+a` और `b+d=d+b` सभी `a, b, c, d in N cup {0}` के लिए `therefore (a+c,b+d)=(c+a,d+b)` सभी `a, b, c, d in N cup {0}` के लिए `rArr (a,b)**(c,d)=(c,d)**(a,b)` सभी `(a,b),(c,d) in A` के लिए `rArr **`, समुच्चय A पर क्रमविनिमेय है। |
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| 23. |
माना कि `**`, N पर एक द्विआधारी संक्रिया है जो इस प्रकार प्रदत्त है, `a **b =HCF (a , b), a, b in N` `12 ** 4, 18 ** 24, 7**5` निकालें । |
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Answer» `12 **4 =HCF (12 , 4)=4` `18 ** 24 =HCF (18,24)=6` तथा `7*5 =HCF(7,5)=1` |
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| 24. |
माना कि `A=N xx N`, तथा माना कि `**`, A पर द्विआधारी संक्रिया है जो `(a,b)**(c,d)=(ad+bc,bd)` सभी `(a,b),(c,d) in N xx N` के लिए। दिखाएँ कि `**`, A पर क्रमविनिमेय है। |
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Answer» `(a,b),(c,d)in N xx N` के लिए, `(a,b)**(c,d)=(ad+bc,bd)` तथा `(c,d)**(a,b)=(cb+da,db)` चूँकि योग (+) तथा गुणन (.) M पर क्रम विनिमेय है, इसलिए, `ad+bc+cb+da` और `bd=db` `rArr (ad+bc,bd)=(cb+da,db)` `rArr (a,b)**(c,d)=(c,d)**(a,b)` अतः `**`, समुच्चय A पर क्रमविनिमेय है। |
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| 25. |
माना कि `A=NN xx NN`, तथा माना कि `**`, `A` पर द्विआधारी संक्रिया है जो `(a,b)**(c,d)=(ad+bc,bd)` सभी `(a,b),(c,d) in NN xx NN` के लिए। दिखाएँ कि`A` में कोई तत्समक अवयव नहीं है। |
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Answer» यदि संभव है, तो माना की (x , y) समुच्चय A में तत्समक अवयव है। तो, `(a,b)**(x,y)= (a,b)` सभी `(a, b in N)` के लिए `rArr (ay+bx,by)=(a, b)` सभी `a, b in N` के लिए `rArr ay+bx=a` और `by=b` सभी `a, b in N` के लिए `rArr x = 0, y = 1. therefore (x,y) =(0,1)` लेकिन `0 notin N`. इसलिए `(0,1) notin N xx N = A` अतः द्विआधारी संक्रिया `**`, के लिए A में कोई तत्समक अवयव नहीं है। |
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| 26. |
माना कि N पर `a **b=LCM(a , b)` सभी `a, b in N` द्वारा प्रदत्त द्विआधारी संक्रिया `**` है। N में तत्समक अवयव निकालें। |
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Answer» माना कि e तत्समक अवयव है। तो, `a ** e = a = e ** a ` सभी `a in N ` के लिए `rArr a ** e = a ` सभी `a in N ` के लिए `rArr L.C.M. (a , e )= a ` सभी ` a in N ` के लिए `rArr e = 1 ` अतः 1 , N में तत्समक अवयव है। |
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| 27. |
`**` , समुच्चय Q पर परिभाषित एक द्विआधारी संक्रिया है। ज्ञात करें कि संक्रिया साहचर्य है। `a **b=a+b+ab AA a, b in Q` |
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Answer» `(a **b)**c=(a+b+ab)**c` `=(a+b+ab)+c+(a+b+ab)c ` `=a+b+ab+c+ac+bc+abc` `=a+b+c+ab+ac+bc+abc " " ` …(1) तथा `a **(b**c)=a **(b+c+bc) ` `=a+(b+c+bc) +a(b+c+bc)` `=a+b+c+bc+ab+ac+abc` `=(a**b)**c " " `[(1) से ] अतः संक्रिया `**` साहचर्य है । |
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| 28. |
`**` , समुच्चय Q पर परिभाषित एक द्विआधारी संक्रिया है। ज्ञात करें कि संक्रिया साहचर्य है। ` a **b =(ab)/(2) AA a , b in Q` |
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Answer» `(a **b)**c=((ab)/(2))**c=(1)/(2)((ab)/(2))c=(abc)/(4) " " ` …(1) `a **(b**c)=a**((bc)/(2))=(1)/(2) a((bc)/(2)) = (abc)/(4)=(a**b)**c " " ` [ (1) से ] अतः संक्रिया `**` साहचर्य है। |
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| 29. |
`**` , समुच्चय Q पर परिभाषित एक द्विआधारी संक्रिया है। ज्ञात करें कि संक्रिया साहचर्य है। `a **b=a-b AA a , b in Q` |
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Answer» `(a ** b ) **c = (a-b) **c=(a-b)-c=a-b-c " " `…(1) `a**(b**c)=a**(b-c)` `=a-(b-c)=a-b+c ne (a**b)**c " " ` [(1) से ] अतः संक्रिया `**` साहचर्य नहीं है। |
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| 30. |
समुच्चय Q पर परिभाषित एक द्विआधारी संक्रिया है। ज्ञात करें कि द्विआधारी संक्रिया क्रमविनिमेय है। ` a **b =(a-b)^(2)AA a , b in Q ` |
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Answer» `a **b=(a-b)^(2)=(b-a)^(2)=b**a` अतः संक्रिया * क्रमविनिमेय है। |
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| 31. |
`a**b=|a-b|` तथा `a" o "b=a AA a, b in R` द्वारा परिभाषित द्विआधारी संक्रियाओं `**:R xx R to R` तथा `o : R xx R to R` पर विचार करें। सिद्ध करें कि `**` क्रमविनिमेय है परन्तु साहचर्य नहीं है, o साहचर्य है परन्तु क्रमविनिमेय नहीं । पुनः सिद्ध करें कि सभी `a, b, c in R` के लिए `a **(b" o "c)=(a**b)" o "(a**c)` है। ( यदि ऐसा होता है तो हम कहते है संक्रिया `**` संक्रिया o पर वितरित होती है ) क्या o संक्रिया `**` पर वितरित होती है ?अपने उत्तर का औचित्य भी बताएँ। |
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Answer» दिया है `a **b=|a-b|, AA a, b in R " " ` …(1) तथा `a" o "b=a, AA a, b in R " " ` ...(2) First part : `a **(b" o "c)=a**b=|a-b| " " [because b" o "c=b]` तथा `(a**b)" o "(a**c)=a**b = |a-b| " " [ because a" o "b=a]` अतः `a**(boc)=(a**b)o(a**c)` Second part: जॉंच करना है : क्या `a o(b**c)=(a" o "b)**(a" o "c)` है ? अब `a " o "(b**c)=a " " [ because a " o "b = a]` तथा `(a" o "b) **(a" o "c)=a**a=|a-a|=0` अतः `a" o "(b **c) ne (a" o "b) **(a" o "c)" " ` [ सामान्यतः] इसलिए संक्रिया o, संक्रिय `**` पर वितरित नहीं होता है। |
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