InterviewSolution
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This section includes InterviewSolutions, each offering curated multiple-choice questions to sharpen your knowledge and support exam preparation. Choose a topic below to get started.
| 1. |
यदि परमाणु `""_(100)"Fm"^(215)` बोहर मॉडल का अनुसरण करता है तथा `""_(100)"Fm"^(215)` कि 5 विन कक्षा कि त्रिज्या, बोहर त्रिज्या कि p गुनी है, तब p का मान है :A. 100B. 200C. 4D. `1//4.` |
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Answer» Correct Answer - D इलेक्ट्रॉन कि n वीं कक्षा मी त्रिज्या, `r_(n)=(n^(2)h^(2)epsilon_(0))/(pimZe^(2))=(n^(2))/(Z)(0.53Å).` `""100"Fm"^(215)` परमाणु के लिये, Z = 100 तथा n = 5 (दिया है)। `:.r_(n)=((5)^(2))/(100)(0.53Å)=(0.53Å)/(4).` परन्तु प्रश्नानुसार, `r_(n)=pxx0.53Å." ":.p=1//4.` |
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| 2. |
हाइड्रोजन परमाणु के बोहर मॉडल के अनुसार, स्थायी कक्षा की त्रिज्या मुख्य क्वाण्टम संख्या n पर निर्भर करती है। कक्षा की त्रिज्या अनुक्रमानुपाती है :A. `n^(-1)`B. nC. `n^(-2)`D. `n^(2).` |
| Answer» Correct Answer - D | |
| 3. |
हाइड्रोजन परमाणु के ऊर्जा स्तरों को चित्र में प्रदर्शित किया गया है। संक्रमण A, B, C तथा D हाइड्रोजन परमाणु के उत्सर्जन स्पेक्ट्रम की किन श्रेणियों को प्रदर्शित करते है ? |
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Answer» संक्रमण A के लिये, `lambda_(A)=(12375)/(DeltaE)Å=(12375)/(13.6)=909.9Å(" लाइमन")` संक्रमण B के लिये, `lambda_(B)=(12375)/(E_(5)-E_(2))=(12375)/(2.86)=4326.9Å(" बामर")` संक्रमण C के लिये, `lambda_(C)=(12375)/(E_(5)-E_(3))=(12375)/(0.97)=12758Å(" पाश्चन")` सकंक्रमण D के लिये, `lambda_(D)=(12375)/(E_(4)-E_(3))=(12375)/(0.66)=18750Å(" पाश्चन")` |
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| 4. |
जब हाइड्रोजन परमाणु उच्च ऊर्जा-अवस्थाओं से n = 1 ऊर्जा -अवस्था में संक्रमण करता हैं, तो उसके स्पेक्ट्रम में किस श्रेणी की रेखायें प्राप्त होगी ? |
| Answer» Correct Answer - लाइमन श्रेणी की | | |
| 5. |
हाइड्रोजन परमाणु के `3to2` संक्रमण के संगत विकिरण प्रकाशिक इलेक्ट्रॉन उत्पन्न के लिए धात्विक सतह पर गिरती है। ये इलेक्ट्रॉन चुम्ब्कीय क्षेत्र `3xx10^(-4)" T"` में प्रवेश करते हैं। यदि इन इलेक्ट्रॉनों द्वारा अनुसरित उच्चतम वृत्तीय पथ की त्रिज्या 10.0 मिमी है, तब धातु का कार्य फलन लगभग है :A. `0.8" eV"`B. `1.6" eV"`C. `1.8" eV"`D. `1.1" eV"` |
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Answer» Correct Answer - D `"e v B"=("mv"^(2))/( r )` अथवा `"r e B"="mv"impliesr^(2)e^(2)B^(2)=m^(2)v^(2)` अथवा `(1)/(2)"mv"(2)=(r^(2)e^(2)B^(2))/(2m)` `=((10.0xx10^(-3))^(2)xx(1.6xx10^(-19))^(2)xx(3xx10^(-4))^(2))/(2xx9.1xx10^(-31))` `=12.66xx10^(-20)"J"=(12.66xx10^(-20)"J")/(1.6xx10^(-19)"J"/"eV")` `=7.9xx10^(-1)" eV"=0.79" eV".` `3to2` संक्रमण में उत्सर्जित ऊर्जा `E=13.6[(1)/((2)^(2))-(1)/((3)^(2))]"eV"=13.6[(1)/(4)-(1)/(9)]"eV"` `=(13.6xx5)/(36)=1.89" eV"` कार्य फलन, `W=E-(1)/(2)"mv"^(2)=1.89"eV"-0.79" eV"=1.1"eV".` |
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| 6. |
हाइड्रोजन परमाणु की निम्नतम स्तर की ऊर्जा `-13.6" eV"` है। जब इसका इलेक्ट्रॉन प्रथम उत्तेजित अवस्था में है तो इसकी उत्तेजन ऊर्जा है :A. `3.4 "eV"`B. `6.8" eV"`C. `10.2" eV"`D. शून्य |
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Answer» Correct Answer - C हाइड्रोजन परमाणु कि निम्नतम स्तर कि ऊर्जा `E_(1)=-13.6" eV"` (दिया है) प्रथम उत्तेजित अवस्था (n = 2) में इलेक्ट्रॉन की ऊर्जा `E_(2)=-(13.6)/((2)^(2))=-3.4" eV"` `:." उत्तेजन ऊर्जा "DeltaE=E_(2)-E_(1)` `=-3.4" eV"-13.6" eV"=10.2" eV".` |
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| 7. |
हाइड्रोजन-सदृश परमाणु में अवस्था n = 4 से n = 3 में संक्रमण होने पर पराबैंगनी विकिरण प्राप्त होता है। वह संक्रमण जिससे अवरक्त विकिरण प्राप्त होगा, है :A. `2to1`B. `3to2`C. `4to2`D. `5to4.` |
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Answer» Correct Answer - D अवरक्त विकिरण वाले संक्रमण के लिये ऊर्जा-स्तरों में अन्तर `(DeltaE)`, पराबैंगनी विकिरण वाले संक्रमण के सापेक्ष कम होगा। यह केवल संक्रमण `5to4` में ही सम्भव है। |
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| 8. |
हाइड्रोजन परमाणु की ऊर्जा `E_(n)=-(13.6)/(n^(2))"eV"` से प्रदर्शित की जाती है। ज्ञात कीजिए : (i) हाइड्रोजन परमाणु की आयनन ऊर्जा, (ii) बामर श्रेणी की `H_(beta)` लाइन की तरंगदैर्घ्य। |
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Answer» संकेत : उदाहरण 34 देखें। `13.6" eV",4853Å.` |
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| 9. |
हाइड्रोजन परमाणु की n वीं कक्षा में घूमने वाले इलेक्ट्रॉन की ऊर्जा `E_(n)=-(13.6)/(n^(2))"eV"` सूत्र से व्यक्त की जाती है। ज्ञात कीजिए: (i) इलेक्ट्रॉन के द्वितीय कक्षा से प्रथम कक्षा में जाने से मुक्त हुई ऊर्जा। (ii) इस संक्रमण में उत्सर्जित प्रकाश की तरंगदैर्घ्य। (iii) परमाणु को आयनित करने के लिए आवश्यक ऊर्जा। |
| Answer» (i) `10.2" eV,"` (ii) `1213Å,` (iii) `13.6" eV".` | |
| 10. |
हाइड्रोजन के परमाणु की n वीं कक्षा में परिभ्र्मण करने वाले इलेक्ट्रॉन की ऊर्जा `E_(n)=-(13.6)/(n^(2))"eV"` होती है। इलेक्ट्रॉन के चतुर्थ से तीसरी कक्षा में संक्रमण होने पर उत्सर्जित ऊर्जा तथा इस संक्रमण में उत्सर्जित विकिरण की तरंगदैर्घ्य ज्ञात कीजिए। |
| Answer» Correct Answer - `0.66" eV,"18750Å.` | |
| 11. |
हाइड्रोजन परमाणु की आयनन-ऊर्जा 13.6 eV है। हाइड्रोजन के लिए रिडबर्ग नियतांक की गणना कीजिए। |
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Answer» संकेत : `"R h c "=13.6" eV".` `1.0956xx10^(7)" प्रति मीटर।"` |
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| 12. |
हाइड्रोजन परमाणु की बामर श्रेणी की प्रथम रेखा की तरंगदैर्घ्य `6560 Å` है। इस श्रेणी की तीसरी रेखा की तरंगदैर्घ्य ज्ञात कीजिए। |
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Answer» हाइड्रोजन परमाणु की बामर श्रेणी की प्रथम रेखा के लिये, `(1)/(lambda_(1))=R[(1)/(2^(2))-(1)/(3^(2))]=(5R)/(36)` तीसरी रेखा के लिये, `(1)/(lambda_(3))=R[(1)/(2^(2))-(1)/(5^(2))]=(21R)/(100)` `:.(lambda_(3))/(lambda_(1))=(5R)/(36)xx(100)/(21R)=(125)/(189)` `lambda_(3)=lambda_(1)xx(125)/(189)=6560xx(125)/(189Å)=4339Å.` |
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| 13. |
हाइड्रोजन परमाणु का आयनन-विभव 13.6 वोल्ट है । ज्ञात कीजिए : (i) रिडबर्ग नियतांक, (ii) बामर श्रेणी की `H_(beta)` लाइन की तरंगदैर्घ्य तथा (iii) लाइमन श्रेणी की सबसे छोटी तरंगदैर्घ्य। `(h=6.6xx10^(-34)"जुल-सेकण्ड,"c=3.0xx10^(8)" मीटर/सेकण्ड तथा "e=1.6xx10^(-19)" कूलॉम")"|"` |
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Answer» (i) हाइड्रोजन परमाणु की आयनन ऊर्जा R h c होती है। चूँकि आयनन विभव 13.6 वोल्ट है, अत: आयनन ऊर्जा 13.6 इलेक्ट्रॉन-वोल्ट है। इस प्रकार, `"R h c"=13.6" eV"=13.6xx1.6xx10^(-19)" जूल।"` `:.R=(13.6xx1.6xx10^(-19)"जूल")/(6.6xx10^(-34)"जूल-सेकण्ड"xx3.0xx10^(8)"मीटर/सेकण्ड")` `=1.099xx10^(7)"मीटर"^(-1)` (ii) बामर श्रेणी के लिए `(1)/(lambda)=R((1)/(2^(2))-(1)/(n^(2)))," ""जहाँ" n=3,4,5...` `H_(beta)` रेखा के लिए n = 4 `:.(1)/(lambda)=R((1)/(2^(2))-(1)/(4^(2)))=(3R)/(16)` अथवा `(1)/(lamba)=(16)/(3R)=(16)/(3xx(1.099xx10^(7)"मीटर"^(-1)))` `=4.853xx10^(-7)" मीटर "=4853Å.` (iii) लाइमन श्रेणी के लिए `(1)/(lambda)=R((1)/(1^(2))-(1)/(n^(2)))," ""जहाँ "n=2,3,4...` सबसे छोटा तरंगदैर्घ्य के लिए `n=oo`. `:.lambba=(1)/(R)=(1)/(1.099xx10^(7)"मीटर"^(-1))` `=0.910xx10^(-7)"मीटर "=910Å.` |
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| 14. |
हाइड्रोजन परमाणु के आयनन विभव की गणना कीजिए। (रिडबर्ग नियतांक `R=1.097xx10^(7)" मीटर"^(-1),h=6.63xx10^(-34)" जूल-सेकण्ड तथा "c=3.0xx10^(8)" मीटर / सेकण्ड")` |
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Answer» हाइड्रोजन परमाणु के n वें स्तर की ऊर्जा, `E_(n)=-("E h c")/(n^(2))` जहाँ R रिडबर्ग नियतांक है, h प्लांक-नियतांक है तथा c प्रकाश की चाल है। हाइड्रोजन परमाणु में इलेक्ट्रॉन सामान्यत: निम्नतम ऊर्जा-अवस्था (n = 1) में रहता है, जहाँ इसकी ऊर्जा `(-"R h c")/(1^(2))=-"R h c "` होती है। परमाणु के आयनित होने पर इलेक्ट्रॉन की ऊर्जा शून्य हो जाती है। इस प्रकार आयनन ऊर्जा `=0-(-"R h c")="R h c"` `=(1.097xx10^(7)" मी"^(-1))xx(6.63xx10^(-34)" जूल-से")xx(3.0xx10^(8)" मी / से")` `=21.8xx10^(-19)" जूल"=(21.8xx10^(-19)"जूल")/(1.6xx10^(-19)" जूल"//" eV")` `=13.6" इलेक्ट्रॉन-वोल्ट।"` `:." हाइड्रोजन परमाणु का आयनन विभव"=13.6" वोल्ट।"` |
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| 15. |
यदि हाइड्रोजन परमाणु में पहली बोहर कक्षा में इलेक्ट्रॉन की ऊर्जा `-22xx10^(-19)` जूल है। जब इलेक्ट्रॉन कक्षा संख्या 3 से कक्षा संख्या 2 में संक्रमण करे, तो उत्सर्जित प्रकाश की आवृत्ति की गणना कीजिए। `(h=6.6xx10^(-34)" जूल-सेकण्ड")` |
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Answer» हाइड्रोजन परमाणु की n वीं कक्षा में इलेक्ट्रॉन की ऊर्जा `E_(n)=-("R h c ")/(n^(2)).` दिया है : `E_(1)=-"R h c"=-22xx10^(-19)" जूल।"` `:." कक्षा "n=3" में ऊर्जा, "E_(3)=E_(1)//9=-2.44xx10^(-19)" जूल "` तथा कक्षा n = 2 में ऊर्जा, `E_(2)=E_(1)//4=-5.5xx10^(-19)" जूल।"` इलेक्ट्रॉन के कक्षा n = 3 से कक्षा n = 2 में संक्रमण करने पर उत्सर्जित ऊर्जा `DeltaE=E_(3)-E_(2)=-2.44xx10^(-19)" जूल "-(-5.5xx10^(-19)" जूल ")` `=3.06xx10^(-19)" जूल ।"` उत्सर्जित प्रकाश की आवृत्ति `v=(DeltaE)/(h)=(3.06xx10^(-19)" जूल")/(6.6xx10^(-34)"जूल-सेकण्ड")=0.46xx10^(15)" हर्ट्स।"` |
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| 16. |
हाइड्रोजन परमाणु में इलेक्ट्रॉन की ऊर्जा का निम्नतम स्तर -13.6" eV" है। `(h=6.6xx10^(-34)" जूल-सेकण्ड,"c=3.0xx10^(8)" मीटर/सेकंड")` गणना कीजिए | (i) बामर श्रेणी की पहली स्पेक्ट्रमी रेखा की तरंगदैर्घ्य (ii) बामर श्रेणी की सीमा की तरंगदैर्घ्य (iii) रिडबर्ग नियतांक | |
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Answer» हाइड्रोजन परमाणु की n वी कक्षा में इलेक्ट्रॉन की ऊर्जा `E_(n) = -(Rhc)/(n_(2))` (i) दिया है : `E_(1) = -Rhc = - 13.6` eV. `(therefore n = 1)` बामर श्रेणी की पहली स्पेक्ट्रमी रेखा के लिए संक्रमण तीसरे से दूसरे ऊर्जा स्तर में होगा | अतः `triangleE=E_(3)-E_(2)` `therefore (hc)/(lambda)=-(Rhc)/((3)^(2))-(-(Rhc)/((2)^(2)))=Rhc((1)/(4)-(1)/(9))` `=13.6 xx (5)/(36) = (68)/(36)` eV `therefore lambda = (hc)/(68//36eV)=(36xx6.6xx10^(-34)xx3.0xx10^(8))/(68xx1.6xx10^(-19))` ` = 6.551 xx 10^(-7)` मी = 6551 `Å`. ( यह बामर श्रेणी की सबसे बड़ी तरंगदैर्घ्य है ) (ii) बामर श्रेणी की सबसे छोटी रेखा की तरंगदैर्घ्य के लिए `n_(2) = oo` `therefore (hc)/(lambda_(min))=(Rhc)/(4)=(13.6)/(4)=3.4eV` ` lambda_(min)=(hc)/(3.4eV)=(6.6xx10^(-34)xx3.0xx10^(8))/(3.4xx1.6xx10^(-19))` ` = 3.6397 xx 10^(-7)` मीटर = 3639 = `Å`. `therefore ` सेमी की तरंगदैर्घ्य 6551 `Å` से 3639.7 `Å` तक | (iii) `Rhc = 13.6` eV `therefore R=(13.6xx1.6xx10^(-19)"जूल")/(6.6xx10^(-34)"जूल-से"xx3.0xx10^(18)"मी-से"^(-1))` ` = 1.099 xx 10 ^(7)"मीटर"^(-1)` | |
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| 17. |
हाइड्रोजन-सृदश परमाणु की बामर श्रेणी की प्रथम रेखा की तरंगदैर्घ्य `1640Å` है। परमाणु की आयनन ऊर्जा का मान ज्ञात कीजिए। `(h=6.6xx10^(-34)" जूल-सेकण्ड,"c=3.0xx10^(8)" मीटर / सेकण्ड")` |
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Answer» हाइड्रोजन-सृदश परमाणु की बामर श्रेणी के लिये `(1)/(lambda)=R((1)/(2^(2))-(1)/(n^(2)))," ""जहाँ" n=3,4,5,…` प्रथम रेखा के लिये n = 3 `:. (1)/(lambda)=R((1)/(2^(2))-(1)/(3^(2)))=(Rxx5)/(36)` इससे `R=(36)/(5lambda).` अब आयनन ऊर्जा `="R h c"` `=(36)/(5lambda)"h c"` `=(36)/(5xx(1640xx10^(-10))xx(6.6xx10^(-34))xx(3.0xx10^(8))` `=8.7xx10^(-18)" जूल "=(8.7xx10^(-18)"जूल")/(1.6xx10^(-19)"जूल"//"eV")=54.4" eV."` |
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| 18. |
हाइड्रोजन की प्रथम बोहर कक्षा में इलेक्ट्रॉन प्रति सेकण्ड कितने परिक्रमण करता है ? `h=6.6xx10^(-34)` जूल-सेकण्ड तथा इलेक्ट्रॉन का द्रव्यमान `=9.1xx10^(-31)` किग्रा। |
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Answer» परमाणु के बोहर मॉडल की प्रथम परिकल्पना के अनुसार, त्रिज्या r की n वीं कक्षा में इलेक्ट्रॉन (द्रव्यमान m ) का कोणीय संवेग `m v r=(nh)/(2pi)` अतः प्रथम बोहर कक्षा (n = 1) में इलेक्ट्रॉन का परिक्रमण वेग `v=(h)/(2pi m r)` प्रथम कक्षा में प्रति सेकण्ड परिक्रमणो की संख्या, अर्थात कक्षीय आवृत्ति `""^(v)"कक्षीय "=(v)/(2pir)=(h)/(4pi^(2)mr^(2))` हमें ज्ञात है कि बोहर की प्रथम कक्षा की त्रिज्या `0.53 Å` `(=0.53xx10^(-10)"मीटर") "है।"` `:. v_("कक्षीय")=(6.6xx10^(-34))/(4xx(3.14)^(2)xx(9.1xx10^(-31))xx(0.53xx10^(-10))^(2))` `=6.55xx10^(15)"प्रति सेकण्ड।"` |
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| 19. |
एक हाइड्रोजन परमाणु में कक्षा n = 3 से कक्षा n = 2 में एक संक्रमण होता है। उत्सर्जित फोटॉन की तरंगदैर्घ्य ज्ञात कीजिए। यह विद्युत चुम्बकीय स्पेक्ट्रम के किस क्षेत्र में होगा ? |
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Answer» हाइड्रोजन परमाणु की n वीं कक्षा में इलेक्ट्रॉन की ऊर्जा `E_(n)=-(13.6)/(n^(2))eV.` n = 3 तथा n = 2 कक्षाओं में ऊर्जाएँ `E_(3)=-(13.6)/(9)=-1.51" eV "" तथा "E_(2)=-(13.6)/(4)=-3.40" eV ".` `:. Delta E=E_(3)-E_(2)=-1.51" eV"-(-3.40" eV")=1.89" eV".` `:.n=3" से "n=2" में संक्रमण से यदि उत्सर्जित फोटॉन की तरंगदैर्घ्य "lambda" हो, तो ""hv"=("hc")/(lambda)=DeltaE` `lambda=("hc")/(DeltaE)=((6.63xx10^(-34)" जूल-से०")xx(3.0xx10^(8)" मी० / से० "))/(1.89xx(1.60xx10^(-19))"जूल")` `=6.577xx10^(-7)" मीटर"=6577 Å.` स्पेक्ट्रम दृश्य क्षेत्र में होगा। |
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| 20. |
हाइड्रोजन परमाणु के प्रथम तीन ऊर्जा-स्तरों की ऊर्जाएँ क्रमश: `-13.6,-3.4" तथा "-1.5` इलेक्ट्रॉन-वोल्ट हैं। हाइड्रोजन परमाणुओं से टकराकर उन्हें उत्तेजित करने वाले इलेक्टॉनों की ऊर्जा किन सीमाओं के भीतर हो जिससे हाइड्रोजन स्पेक्ट्रम में केवल एक रेखा मिले? संकेत : `Egt[-3.4" eV"-(-13.6" eV")]` `lt [-1.5" eV"-(-13.6" eV")]` `Egt10.2" eV"lt12.1" eV".` |
| Answer» 10.2 eV से अधिक परन्तु 12.1 eV से कम। | |
| 21. |
हाइड्रोजन परमाणु की निम्नतम अवस्था में ऊर्जा -13.6 eV है। इस अवस्था में इलेक्ट्रॉन की गतिज और स्थितिज ऊर्जाएँ क्या होंगी? |
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Answer» `E=-13.6" eV"` गतिज ऊर्जा, `K=-E=-(-13.6" eV")=13.6" eV".` स्थितिज ऊर्जा, `U=2E=2(-13.6" eV")=-27.2" eV".` |
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| 22. |
हाइड्रोजन परमाणु का आयनन-विभव 13.6 वोल्ट है (अर्थात मूल ऊर्जा-स्तर की ऊर्जा -13.6 इलेक्ट्रॉन-वोल्ट है )। इसके उन ऊर्जा-स्तरों की ऊर्जाएँ बताइए जिनके लिए क्वाण्टम संख्यायें 2 तथा 3 हैं। साधारण ताप पर हाइड्रोजन परमाणु कितनी न्यूनतम ऊर्जा के फोटॉन को अवशोषित क्र सकता है ? |
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Answer» किसी परमाणु का आयनन विभव वह न्यूनतम विभव होता है जो की एक इलेक्ट्रॉन को इतनी ऊर्जा दे सके की उस ऊर्जा द्वारा परमाणु आयनित हो जाये। हाइड्रोजन परमाणु का आयनन-विभव 13.6 वोल्ट है। इसका यह अर्थ है कि हाइड्रोजन परमाणु को आयनित करने के लिए 13.6 इलेक्ट्रॉन-वोल्ट (eV) ऊर्जा चाहिये। साधारणत: परमाणु अपने निम्नतम ऊर्जा-स्तर से आयनित होता है। अत: हाइड्रोजन परमाणु के निम्नतम स्तर की ऊर्जा `E_(1)=-13.6" इलेक्ट्रॉन-वोल्ट "(eV)` हम जानते हैं कि यदि निम्नतम स्तर (n = 1) की ऊर्जा `E_(1)` हो तो n वें स्तर की ऊर्जा `E_(1)//n^(2)` होगी। अत: दूसरे स्तर (n = 2) की ऊर्जा `E_(2)=(E_(1))/(2^(2))=-(13.6 eV)/(4)=-3.4 eV.` तीसरे स्तर (n = 3) की ऊर्जा `E_(3)=(E_(1))/(3^(2))=-(13.6 eV)/(9)=-1.5 eV`. साधारण ताप पर परमाणु अपने मूल ऊर्जा-स्तर (n = 1) में होता है। अत: यह उतनी न्यूनतम ऊर्जा अवशोषित कि सकता है जो इसे अगले ऊर्जा-स्तर (n = 2) में भेज सकें। अत: न्यूनतम अवशोषित ऊर्जा `E_(2)-E_(1)=-3.4 "eV "-(-13.6" eV")=10.2" eV".` |
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| 23. |
हाइड्रोजन परमाणु के मूल स्तर की ऊर्जा -13.6 eV है। इसकी उन ऊर्जा-स्तरों की ऊर्जा बताइय जिनके लिये क्वाण्टम संख्यायें 1 और 2 है। यदि इन दोनों ऊर्जा स्तरों के बिच इलेक्ट्रॉन का अन्तरण हो तो कितनी ऊर्जा उत्सर्जित अथवा अवशोषित होगी? |
| Answer» `-13.6" eV", -3.4" eV", 10.2" eV"" ऊर्जा।"` | |
| 24. |
हाइड्रोजन परमाणु में इलेक्ट्रॉन के निम्न संक्रमण में उत्सर्जित फोटॉन की आवृत्ति न्यूनतम होगी :A. `n=2 " से "n=1 " में "B. `n=4 " से "n=2 " में "`C. `n=4 " से "n=3 " में "`D. `n=3 " से "n=1 " में|"` |
| Answer» Correct Answer - C | |
| 25. |
हाइड्रोजन परमाणु का आयनन-विभव 13.6 वोल्ट है। निम्नतम ऊर्जा-स्तर में यह परमाणु `800Å` का फोटॉन अवशोषित करके आयनित हो जाता है। निकलने वाले इलेक्ट्रॉन की गतिज ऊर्जा क्या होगी? |
| Answer» Correct Answer - `1.87" eV".` | |
| 26. |
हाइड्रोजन सदृश परमाणु में इलेक्ट्रॉन क्वाण्टम संख्या n के ऊर्जा-स्तर से क्वाण्टम संख्या (n - 1) के स्तर में संक्रमित होता है। यदि n gtgt 1, उत्सर्जित विकिरण की आवृत्ति अनुक्रमानुपाती है :A. `(1)/(n)`B. `(1)/(n^(2))`C. `(1)/(n^(3//2))`D. `(1)/(n^(3))`. |
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Answer» Correct Answer - D `(1)/(lambda)=R[(1)/((n-1)^(2))=(1)/(n^(2))]` अथवा `( c )/(lambda)=Rc[(n^(2)-(n-1)^(2))/((n-1)^(2))n^(2))]` `v="Rc"[(2n-1)/((n-1)^(2))n^(2))]="Rc"((2n)/(n^(4)))=(2"Rc")/(n^(3))` अथवा `vprop(1)/(n^(3)).` |
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| 27. |
हाइड्रोजन परमाणु के निम्नतम स्तर की ऊर्जा -13.6 इलेक्ट्रॉन-वोल्ट है। n = 4 से n = 2 में संक्रमण होने पर उत्सर्जित फोटॉन की ऊर्जा, आवृत्ति तथा तरंगदैर्घ्य की गणना कीजिए। |
| Answer» `2.55" eV",6.18xx10^(14)" सेकण्ड"^(-1),4853Å.` | |
| 28. |
एक दिये गये हाइड्रोजन परमाणु में इलेक्ट्रॉन द्वारा ऊर्जा-स्तर n = 4 से n = 1 तक जाने से अधिक से सधिक कितने तथा कम से कम कितने फोटॉन उत्सर्जित हो सकते हैं ? |
| Answer» अधिक से सधिक तीन फोटॉन (संक्रमण `4to3,3to2,2to1` के संगत) तथा कम से कम एक फोटॉन (संक्रमण `4to1` के संगत) उत्सर्जित हो सकते हैं। | |
| 29. |
जब कोई हाइड्रोजन परमाणु स्तर n से स्तर (n - 1) पर व्युत्तेजित होता है, तो उत्सर्जित विकिरण की आवृत्ति हेतु व्यंजक प्राप्त कीजिए। n के अधिक मान हेतु, दर्शाइए की यह आवृत्ति, इलेक्ट्रॉन की कक्षा में परिक्रमण की क्लासिकी आवृत्ति के बराबर है। |
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Answer» जब हाइड्रोजन परमाणु n से (n - 1) ऊर्जा स्तर में व्युतेजित होता हैं, तो hv ऊर्जा का फोटॉन उत्सर्जित होता है। `hv=E_(2)-E_(1)` `v=(1)/(h)(E_(2)-E_(1))` यहाँ `E=-((mZ^(2)e^(4))/(8epsilon_(0)^(2)h^(2)))xx(1)/(n^(2))` अत: `v=(mZ^(2)e^(4))/(8epsilon_(0)^(2)h^(3))((1)/((n-1)^(2))-(1)/(n^(2)))` `=(mZ^(2)e^(4))/(8epsilon_(0)^(2)h^(3))[(n^(2)-(n-1)^(2))/(n^(2)(n-1)^(2))]` `=(mZ^(2)e^(4))/(8epsilon_(0)^(2)h^(3))[((2n-1))/(n^(2)(n-1)^(2))]` n के उच्चे मान हेतु `2n-1=2n` तथा `n-1=n` अत: `v=[(mZ^(2)e^(4)xx2n)/(8epsilon_(0)^(2)h^(3)n^(4))]=[(mZ^(2)e^(4))/(4epsilon_(0)^(2)n^(3)h^(3))]" "...(i)` बोहर परमाणु मॉडल में n वीं कक्षा में इलेक्ट्रॉन का वेग एवं त्रिज्या निम्न सूत्रों द्वारा प्रदर्शित होती है : `v=(nh)/(2pimr)" तथा "r=(n^(2)h^(2)epsilon_(0))/(pimZe^(2))` आवृति `v=(1)/(T)=(v)/(2pir)=((nh)/(2pimr))/(2pir)` या `v=(nh)/(4pi^(2)mr^(2))` r का मान रखने पर `v=(nh)/(4pi^(2)m((n^(2)h^(2)epsilon_(0))/(pimZe^(2)))^(2))=(mZ^(2)e^(4))/(4epsilon_(0)^(2)n^(3)h^(3))" "...(ii)` अर्थात n के उच्च मान के लिए अमीकरण (i) व (ii) से स्पष्ट है की आवृत्ति समान है। |
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| 30. |
हाइड्रोजन परमाणु कि प्रथम उत्तेजित अवस्था में इलेक्ट्रॉन कि कुल ऊर्जा लगभग -3.4 eV है। (a) इस अवस्था में इलेक्ट्रॉन कि गतिज ऊर्जा क्या है? (b) इस अवस्था में इलेक्ट्रॉन कि स्थितिज ऊर्जा क्या है? ( c ) यदि स्थितिज ऊर्जा के शून्य स्तर के चयन में परिवर्तन कर दिया जाए तो ऊपर दिए गए उत्तरों में से कौन-सा उत्तर परिवर्तित होगा? |
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Answer» इलेक्ट्रॉन कि कुल ऊर्जा, `E=3.4" eV"` (a) इलेक्ट्रॉन कि गतिज ऊर्जा, `K=-E=-(-3.4" eV")=3.4" eV".` (b) इस अवस्था में स्थितिज ऊर्जा, `U=2E=2xx(-3.4" eV")=-6.8" eV".` ( c ) उपर्युक्त उत्तर इस तथ्य पर आधारित हैं कि स्थितिज ऊर्जा का शून्य स्तर अनन्त पर है। यदि स्थितिज ऊर्जा के शून्य स्तर के चयन में परिवर्तन कर दिया जाये, तो गतिज ऊर्जा तो अपरिवर्तित रहेगी, परन्तु स्थितिज ऊर्जा तथा कुल ऊर्जा बदल जायेगी। |
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| 31. |
हाइड्रोजन के स्पेक्ट्रम में, लाइमन तथा बामर श्रेणीयों की दीर्घतम तरंगदैर्घ्यों का अनुपात होता है :A. `(9)/(4)`B. `(27)/(5)`C. `(5)/(27)`D. `(4)/(9)`. |
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Answer» Correct Answer - C लाइमन श्रेणी में दीर्घतम (पहली) तरंगदैर्घ्य के लिये `(1)/(lambda_(1))=R((1)/(1^(2))-(1)/(2^(2)))=(3)/(4)R` बामर श्रेणी में दीर्घतम (पहली) तरंगदैर्घ्य के लिये `(1)/(lambda_(2))=R((1)/(2^(2))-(1)/(3^(2)))=(5)/(36)R` `(lambda_(1))/(lambda_(2))=(5)/(36)xx(4)/(3)=(5)/(27).` |
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| 32. |
हाइड्रोजन परमाणु की लाइमन श्रेणी की प्रथम रेखा की तरंगदैर्घ्य एक हाइड्रोजन-सदृश परमाणु X की बामर श्रेणी की द्वितीय रेखा की तरंगदैर्घ्य के बराबर है। X परमाणु की प्रथम दो स्तरों की ऊर्जाओं की गणना कीजिए। इस परमाणु का आयनन-विभव भी ज्ञात कीजिए। दिया है : हाइड्रोजन परमाणु की मूल अवस्था में बन्धन-ऊर्जा =13.6 eV. |
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Answer» हाइड्रोजन-सदृश आयन की तरंगदैर्घ्य के लिए सूत्र है : `(1)/(lambda)=Z^(2)R((1)/(n_(1)""^(2))-(1)/(n_(2)""^(2))).` हाइड्रोजन परमाणु (Z = 1) के लिए प्रथम लाइमन रेखा `(n_(1)=1,n_(2)=2)` की तरंगदैर्घ्य `(1)/(lambda_(H))=R((1)/(1^(2))-(1)/(2^(2)))=(3)/(4)R.` हाइड्रोजन-सदृश आयन X के लिए द्वितीय बामर रेखा `(n_(1)=2,n_(2)=4)` की तरंगदैर्घ्य `(1)/(lambda_(x))=Z^(2)R((1)/(2^(2))-(1)/(4^(2)))=(3)/(16)Z^(2)R.` परन्तु `lambda_(H)=lambda_(X)" (दिया है)। ":.(3)/(4)R=(3)/(16)Z^(2)R` अथवा `" "Z=2.` आयन X, आयनित हीलियम `("He"^(+))` है। अब, `" "E_(X)=Z^(2)E_(H)=4E_(H).` परन्तु `" "E_(H)=-(13.6)/(n^(2))"eV"` प्रथम दो स्तरों के लिये n = 1, 2 `:.E_(X)=-(4xx13.6"eV")/(n^(2))=-54.4"eV",-13.6" eV".` आयन X की आयनन ऊर्जा 54.4 eV (निम्नतम अवस्था की ऊर्जा के बराबर) है। अत: संगत आयनन विभव 54.4 वोल्ट है। |
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| 33. |
हाइड्रोजन की लाइमन श्रेणी की प्रथम रेखा की तरंगदैधर्य है :A. `912 Å`B. `1125 Å`C. `1215 Å`D. `1152 Å`. |
| Answer» Correct Answer - C | |
| 34. |
हाइड्रोजन की लाइमन श्रेणी वधुतचुम्बकीय स्पेक्ट्रम के किस क्षेत्र में पाया जाता है ?A. पराबैंगनीB. अवरक्तC. दृश्य प्रकाशD. X-किरण |
| Answer» Correct Answer - A | |
| 35. |
यदि लाइमन श्रेणी की सीमा आवृत्ति `v_(L)` है, तो फुण्ड श्रेणी की सीमा आवृत्ति होगी :A. `v_(L)//16`B. `v_(L)//25`C. `25v_(L)`D. `16v_(L)` |
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Answer» Correct Answer - B `hv=E((1)/(n_(1)""^(2))-(1)/(n_(2)""^(2))),` लाइमन श्रेणी की सीमा आवृत्ति के लिये `n_(2)=oo,n_(1)=1` `"hv"_("L")=E((1)/(1^(2))-(1)/(oo))=E` फुण्ड श्रेणी की सीमा आवृत्ति के लिये, `"hv"_("p")=E((1)/(5^(2))-(1)/(oo))=(E)/(25)` `:.(v_(P))/(v_(L))=(1)/(25)" अथवा "v_(P)=(v_(L))/(25).` |
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| 36. |
बामर श्रेणी की अन्तिम लाइन की तरंगदैर्घ्य का अनुपात है :A. 2B. 1C. 4D. 0.5 |
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Answer» Correct Answer - C बामर श्रेणी की अन्तिम लाइन के लिये `(1)/(lambda_(b))=R[(1)/(2^(2))-(1)/(oo^(2))]` `lambda_(b)=(4)/( R )` लाइमन श्रेणी की अन्तिम लाइन के लिये `(1)/(lambda_(l))=R[(1)/(1^(2))-(1)/(oo^(2))]` `lambda_(l)=(1)/( R ):.(lambda_(b))/(lambda_(l))=4` |
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| 37. |
एक प्रोटॉन एक मुक्त इलेक्ट्रॉन को, जिसकी गतिज ऊर्जा शुन्य है, प्रग्रहण (capture) करके न्यूनतम ऊर्जा-स्तर का (n = 1 अवस्था का) हाइड्रोजन परमाणु बनाता है। यदि इस प्रक्रिया में एक फोटॉन उत्सर्जित हो, तो विकिरण की तरंगदैर्घ्य कितनी होगी? यह विकिरण विधुत-चुम्बकीय स्पेक्ट्रम के किस क्षेत्र में होगा ? (हाइड्रोजन का आयनन-विभव = 13.6 वोल्ट, `h=6.6xx10^(-34)` जल-सेकण्ड, `c=3.0xx10^(8)"मीटर/सेकण्ड)।"` |
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Answer» हाइड्रोजन परमाणु का आयनन-विभव 13.6 वोल्ट है। इसका यह अर्थ है की हाइड्रोजन परमाणु को आयनित करने के लिए 13.6 इलेक्ट्रॉन-वोल्ट (eV) ऊर्जा चाहिये। साधारणत: परमाणु अपने निम्नतम ऊर्जा-स्तर (n = 1) से आयनित होता है। अत: हाइड्रोजन परमाणु में इलेक्ट्रॉन की न्यूनतम ऊर्जा `E_(1)=-13.6" eV."` परन्तु दिये गये इलेक्ट्रॉन की गतिज-ऊर्जा शुन्य है। अत: प्रोटॉन `(H^(+))` से संयोग करके, n = 1 अवस्था का परमाणु बनाने पर इलेक्ट्रॉन की ऊर्जा में कमी, `DeltaE=0-(-13.6" eV")=13.6" eV."` यदि उत्सर्जित फोटॉन की तरंगदैर्घ्य `lambda` हो, तो `DeltaE="h v"="hc"//lambda` अथवा `lambda="hc"//DeltaE.` यहाँ `DeltaE=13.6" eV"=13.6xx(1.6xx10^(-19))` जूल। उपरोक्त समीकरण में `DeltaE` का यह मान तथा h व c के दिये गये मान रखने पर `:.lambda=((6.6xx10^(-34)"जूल-सेकण्ड")xx(3.0xx10^(8)"मीटर/सेकण्ड"))/(13.6xx(1.6xx10^(-19)"जूल"))` `=0.910xx10^(-7)"मीटर"=910Å.` यह विकिरण विधुत-चुम्बकीय स्पेक्ट्रम के अति-दूर पराबैंगनी भाग में होगा। |
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| 38. |
हाइड्रोजन परमाणु के निम्नतम अवस्था में इलेक्ट्रॉन की ऊर्जा -13.6 eV है। एक 12.75 eV ऊर्जा का फोटॉन हाइड्रोजन परमाणु के एक इलेक्ट्रॉन द्वारा निम्नतम ऊर्जा स्तर में अवशोषित किया जाता है। हाइड्रोजन परमाणु किस ऊर्जा स्तर तक उत्तेजित होगी? लाइमन श्रेणी की दूसरी एवं बामर श्रेणी की दूसरी रेखा की तरंगदैर्घ्य की गणना कीजिए। `(R=1.097xx10^(7)"मी"^(-1))` |
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Answer» माना इलेक्ट्रॉन n वें ऊर्जा स्तर में उत्तेजित होता है। तब `E_(n)=E_(1)+"hv"=-13.6+12.75=-0.85" eV"` `:.E_(n)=(E_(1))/(n^(2))impliesn^(2)=(E_(1))/(E_(n))=(-13.6"eV")/(-0.85"eV")=16` `:.n=4.` लाइमन श्रेणी की दूसरी रेखा की तरंगदैर्घ्य `(1)/(lambda)=R[(1)/(1^(2))-(1)/(3^(2))]=1.097xx10^(7)xx(8)/(9)` अत: `lambda=1026Å` बामर श्रेणी की दूसरी रेखा की तरंगदैर्घ्य `(1)/(lambda)=R[(1)/(2^(2))-(1)/(4^(2))]=1.097xx10^(7)xx(3)/(16)` अत: `lambda=4864Å.` |
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| 39. |
एक धातु, जिसका कार्य-फलन 1.7 eV है, के तल से निकले फोटो-एलेक्ट्रनों का निरोधी विभव 10.4 वोल्ट है। प्रयुक्त विकिरण की तरंगदैर्घ्य ज्ञात कीजिए। हाइड्रोजन परमाणु में उन ऊर्जा-स्तरों का भी अभिनिर्धारण कीजिए जो इसी तरंगदैर्घ्य का उत्सर्जन करेंगें। `(h=6.63xx10^(-34)" जूल-सेकण्ड तथा" c= 3.0xx10^(8)" मीटर / सेकण्ड")` |
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Answer» यदि धातु पर `lambda` तरंगदैर्घ्य का विकिरण गिरने से उत्सर्जित प्रकाश-एलेक्ट्रॉनों की अधिकतम गतिज ऊर्जा `E_(k)` हो, तब `E_(k)=("h c")/(lambda)-W" "("आइन्सटीन समीकरण")` जहाँ W धातु का कार्य-फलन है। यदि निरोधी विभव `V_(0)` वोल्ट हो तब `E_(k)="e "V_(0),` जहाँ e इलेक्ट्रॉन का आवेश है। `:."eV"_(0)=("h c")/(lambda)-W` अथवा `lambda=("h c")/(W+eV_(0)).` यहाँ `W+"eV"_(0)=1.7"eV"+10.4"eV"=12.1"eV"` `=12.1xx(1.6xx10^(-19))" जूल ।"` `:. lambda=((6.63xx10^(-34)" जूल-से")xx(3.0xx10^(8)" मि/से"))/(12.1xx1.6xx10^(-19)"जूल")` `=1.027xx10^(-7)"मी"=1027Å.` तरंगदैर्घ्य `lambda=1027Å` के संगत फोटॉन ऊर्जा `=(12375)/(1027Å)=12.1" eV" ("इलेक्ट्रॉन-वोल्ट")"|"` अब, हाइड्रोजन परमाणु के ऊर्जा-स्तरों के लिये निम्न समीकरण है : `E_(n)=-(13.6)/(n^(2))"eV"," जहाँ "n=1,2,3,4, ...` इससे `E_(1)=-13.6" eV", E_(2)=-3.4" eV, "E_(3)=-1.5" eV"` तथा `E_(4)=-0.85" eV", ...` `:.E_(3)-E_(1)=-1.5" eV"-(-13.6" eV")` `=12.1" eV"(" इलेक्ट्रॉन-वोल्ट")"|"` इस प्रकार, `lambda=1027Å` विकिरण उत्सर्जित करने वाले ऊर्जा-स्तर n = 3 तथा n = 1. |
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| 40. |
हाइड्रोजन परमाणु की आयनन-ऊर्जा 13.6 eV है। एक फोटॉन किसी हाइड्रोजन परमाणु पर जो प्रारम्भ में निम्नतम ऊर्जा अवस्था में है, गिरता है और उसे n = 4 अवस्था तक उत्तेजित करता है। फोटॉन की तरंगदैर्घ्य की गणना कीजिए। `(h=4.14xx10^(-15)eV-s" तथा "c=3.0xx10^(8)" मीटर / सेकण्ड")` |
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Answer» हाइड्रोजन परमाणु की आयनन ऊर्जा 13.6 eV है। इसका अर्थ है की हाइड्रोजन परमाणु की पहली कक्षा (n = 1) में इलेक्ट्रॉन की ऊर्जा -13.6 eV है, अर्थात `E_(1)=-13.6" eV".` अब `E_(4)=-(13.6" eV")/(4^(2))" "[becauseE_(n)=-(13.6" eV")/(n^(2))]` `=-0.85" eV"`. फोटॉन परमाणु को `E_(1)` से `E_(4)` तक उत्तेजित करता है। फोटॉन की ऊर्जा `DeltaE=E_(4)-E_(1)=-0.85" eV"-(-13.6" eV")=12.75" eV."` इसके संगत तरंगदैर्घ्य `lambda=("hc")/(DeltaE)` `=((4.14xx10^(-15)" इलेक्ट्रॉन-वोल्ट-से")xx(3.0xx10^(8)" मी / से"))/(12.75" इलेक्ट्रॉन-वोल्ट")` `=0.9741xx10^(-7)" मीटर "=974.1Å`. |
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| 41. |
पारे का प्रथम ऊर्जन-विभव 4.86 वोल्ट है। पारे का परमाणु एक फोटॉन अवशोषित करके प्रथम उत्तेजन अवस्था में पहुँच जाता है। अवशोषित फोटॉन की तरंगदैर्घ्य ज्ञात कीजिए। |
| Answer» Correct Answer - `2546Å.` | |
| 42. |
सोडियम परमाणु का प्रथम उत्तेजन विभव 2.1 वोल्ट है। इस परमाणु द्वारा उत्सर्जित प्रकाश की दीर्घतम तरंगदैर्घ्य ज्ञात कीजिए। `(h=6.6xx10^(-34)" जूल-सेकण्ड तथा प्रकाश की चाल "c=3.0xx10^(8)" मीटर/सेकण्ड")` |
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Answer» परमाणु का प्रथम उत्तेजन विभव 2.1 वोल्ट है। इसका यह अर्थ है की परमाणु निम्नतम ऊर्जा-स्तर से अगले ऊर्जा-स्तर में जाने के लिए 2.1 इलेक्ट्रॉन वोल्ट (eV) ऊर्जा लेता है। यदि इस ऊर्जा-स्तर से वापस निम्नतम ऊर्जा-स्तर में लौटते समय परमाणु द्वारा उत्सर्जित प्रकाश की (दीर्घतम) तरंगदैर्घ्य `lambda` (आवृत्ति v) हो, तो क्वाण्टम सिद्धान्त के अनुसार, `DeltaE="hv"="h c"//lambda` जहाँ `DeltaE` इन दो ऊर्जा-स्तरों का अन्तर है। यहाँ `DeltaE=2.1" eV"=2.1xx1.6xx10^(-19)" जूल।"` `:.lambda=("h c")/(DeltaE)` `=((6.6xx10^(-34" जूल-सेकण्ड")xx(3.0xx10^(8)" मीटर/सेकण्ड"))/(2.1xx(1.6xx10^(-19))"जूल"))` `=5.893xx10^(-7)" मीटर "=5893Å.` |
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| 43. |
हाइड्रोजन परमाणु की आयनन ऊर्जा `13.6" eV"` है। हाइड्रोजन परमाणु की n = 2 अवस्था में इलेक्ट्रॉन की स्थितिज ऊर्जा है :A. `+3.4" eV"`B. `-3.4" eV"`C. `+6.8" eV"`D. `-6.8" eV".` |
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Answer» Correct Answer - D `E_(n=2)=(-13.6)/((2)^(2))"eV"=-3.4" eV","PE"=2E_(n=2)=-6.8"eV".` |
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| 44. |
हाइड्रोजन परमाणु के आयनन विभव तथा प्रथम उत्तेजन विभव का क्या अर्थ है? इनके मान लिखिये। |
| Answer» आयनन विभव = 13.6 वोल्ट तथा प्रथम उत्तेजन विभव = 10.2 वोल्ट। | |
| 45. |
हाइड्रोजन परमाणु की आयनन ऊर्जा 13.6 eV हैं | हीलियम परमाणु की आयनन ऊर्जा कितनी होगी ? |
| Answer» `E_(He) = (13.6)Z^(2) = 13.6(2)^(2) = 54.4` eV. | |
| 46. |
हाइड्रोजन परमाणु के वर्णक्रम में प्राप्त उस श्रेणी का नाम लिखिए जो अवरक्त क्षेत्र में प्राप्त होती है। इस श्रेणी की लाइनों के तरंगदैर्घ्य के लिये सामान्य सूत्र लिखिए। |
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Answer» पाशन, ब्रैकिट, फुण्ड। `(1)/(lambda)=R[(1)/(3^(2))-(1)/(n^(2))],(1)/(lambda)=R[(1)/(4^(2))-(1)/(n^(2))],` `(1)/(lambda)=R[(1)/(5^(2))-(1)/(n^(2))].` |
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| 47. |
हाइड्रोजन स्पेक्ट्रम की एक श्रेणी का नाम लिखिये जो अवरक्त भाग में प्राप्त होती हैं तथा इस श्रेणी की रेखाओं की तरंगदैर्घ्य के लिए व्यापक सूत्र का उल्लेख कीजिए | |
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Answer» पाशन श्रेणी, `(1)/(lambda)=R [(1)/(3^(2)) - (1)/(n^(2))], n = 4, 5, 6,` ….. |
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| 48. |
`"Li"^(++)` में प्रथम बोहर कक्षा से तृतीय बोहर कक्षा में इलेक्ट्रॉन उत्तेजन के लिए ऊर्जा है :A. `12.1" eV"`B. `36.3" eV"`C. `108.8" eV"`D. `122.4" eV"` |
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Answer» Correct Answer - C `E_(1)=-(13.6(3)^(2))/((1)^(2))=13.6xx9"eV",` `E_(3)=-(13.6(3)^(2))/((3)^(2))=-13.6" eV"` `DeltaE=E_(3)-E_(1)=-13.6"eV"-(-13.6xx9)=108.8" eV".` |
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| 49. |
हाइड्रोजन परमाणु के प्रथम बोहर कक्षा की त्रिज्या `0.5Å` है। तृतीय बोहर कक्षा की त्रिज्या ज्ञात कीजिए। |
| Answer» Correct Answer - `4.5Å.` | |
| 50. |
बोहर कक्ष की प्रथम तीन त्रिज्याओं का अनुपात है :A. `1:(1)/(2):(1)/(3)`B. `1:2:3`C. `1:4:9`D. `1:8:27.` |
| Answer» Correct Answer - C | |